रविवार, 11 अप्रैल 2021

सिविल अस्पताल ब्लड बैंक की लापरवाही पड़ रही लोगों की जेब पर भारी, फ्री में मिलने वाला रक्त प्राइवेट ब्लड बैंकों से करना पड़ रहा 1200 रुपए मं खरीद


बठिंडा.
सिविल अस्पताल बठिंडा में पिछले साल जुलाई से नवंबर 2020 के बीच ब्लड बैंक में थैलेसिमिया पीड़ित बच्चों व महिला को संक्रमित रक्त चढ़ाने के विवाद का असर अभी भी देखने को मिल रहा है। इसमें ब्लड बैंक में मरीजों को एमरजेंसी में रक्त लेने में दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है। हालात यह है कि हादसे के शिकार मरीजों को ब्लड बैंक में रक्त उपलब्ध नहीं होने पर प्राइवेट ब्लड बैंकों से महंगे दाम पर खरीद करना पड़ता है। सिविल अस्पताल ब्लड बैंक में जब भी मरीज रक्त लेने के लिए जाता है तो उसे ब्लड डूनेशन करने पर भी तत्काल रक्त उपलब्ध होने की बजाय दो दिन तक इंतजार करने के लिए कहा जाता है। इसके पीछे तर्क दिया जाता है कि उपलब्ध ब्लड के सभी सैपलिंग कंप्लीट होने के बाद ही चढ़ाया जाएगा। हालांकि उक्त जांच का कार्य पहले भी किया जाता है जिसमें कुल स्टाक को फुल करने के बाद हर ग्रुप के सैंपल की जांच कर उसे रिजर्व रख लिया जाता था व मरीज को जरूरत अनुसार उपलब्ध करवा दिया जाता था। इस दौरान बैंक में 60 से 70 यूनिट रिजर्व स्टाक रखा जाता था लेकिन अब यह स्टाक मात्र 10 से 12 यूनिट ही है। 

जानकारी अनुसार साल 2020 में जून माह से लेकर नवंबर माह तक आधा दर्जन से अधिक ऐसे बच्चों को संक्रमित रक्त चढ़ा दिया गया जो पहले से थैलेसिमिया की बीमारी से पीड़ित थे। इसमें एक महिला को भी एचआईवी रक्त चढ़ाने का खुलासा हुआ। इसके बाद राज्य सेहत विभाग की तरफ से मामले की जांच करवाई गई व ब्लड बैंक के कर्मचारियों व अधिकारियों की लापरवाही सामने आने पर उन्हें निलंबित भी किया गया। इसमें दो लोगों के खिलाफ आपराधिक मामला भी दर्ज किया गया था। राज्य सेहत विभाग ने जांच में पाया था कि ब्लड बैंक में लगातार लापरवाही के चलते रक्त की पूरी जांच किए बिना ही मरीजों को जारी कर दिया गया। यही नहीं इस तरह की लापरवाही को रोकने के लिए सेहत विभाग की तरफ से नए सिरे से गाइडलाइन जारी की गई व इसके लिए जहां ब्लड बैंक इंचार्ज के साथ सिविल सर्जन को भी जिम्मेवार बनाते उन्हें ब्लड बैंक व्यवस्था की सप्ताह में दो से तीन दिन जांच करने, स्टाक की उपलब्धा, सैपलिंग की रिपोर्ट सहित कई अहम कार्य सौंपे गए। इस सख्ती के बाद प्रतिदिन की मत्थापेची से बचने के लिए ब्लड बैंक प्रबंधकों ने नई रणनीति पर काम करना शुरू कर दिया। इसमें जहां पहले लोगों को रक्तदान के लिए जागरुक किया जाता था व कैंपों का आयोजन होता था वह बंद कर दिया गया। वही ब्लड बैंक में रक्तदान करने आने वाले लोगों को प्रोत्साहित करने का काम भी बंद कर दिया गया। इसका असर यह देखने को मिला कि सामाजिक संस्थाओं ने रक्तदान कैंप लगाने पिछले छह माह से बंद कर रखे हैं वही प्राइवेट ब्लड बैंक इसका पूरा लाभ उठा रहे हैं व अपने यहां कैंपों का आयोजन करने के साथ एमरजेंसी रक्तदान करवा रहे हैं। वही सिविल अस्पताल में जरूरतमंद व गरीब व्यक्ति जब आपातकाल में उपचार के लिए रक्त की मांग करता है तो उसे कहा जाता है कि वह विकल्पिक ब्लड डूनेट करवा दे। इसके बाद उसके सभी सैंपल जांच किए जाएंगे। इस प्रक्रिया में दो से तीन दिन का समय लगेगा। इस स्थिति में मरीज की जान बचाने के लिए परिजन प्राइवेट अस्पतालों के ब्लड बैंकों की तरफ रुख करते हैं जहां उन्हें फ्री में सिविल अस्पताल में मिलने वाले रक्त के लिए कीटचार्ज व जांच के नाम पर एक हजार से 1200 रुपए का अतिरिक्त भुगतान करना पड़ता है। समाज सेवी व रक्तदानी विरु बांसल का कहना है कि वह कई सालों से जरुरतमंद लोगों की हैल्प कर रहे हैं। उनके पास रक्त लेने व दान करने वाले लोग आते है। प्रतिदिन पांच से सात लोग उन्हें रक्त के लिए संपर्क करते हैं। इसमें कई लोग तो ऐसे होते हैं जो जेब से खर्च नहीं कर सकते हैं। इस स्थिति में उन्हें अपनी जेब से खर्च कर उन्हें प्राइवेट ब्लड बैंक से रक्त लेकर देना पड़ रहा है। यह सिलसिला भी काफी समय तक नहीं चल सकता है। इस स्थिति में जरुरी है कि सिविल अस्पताल प्रबंधन इस कमी में सुधार करे। इसमें ब्लड बैंक का स्टाक जो मात्र 12 से 15 यूनिट रखा जा रहाहै उसे बढ़ाया जाना चाहिए क्योंकि सिविल अस्पताल ब्लड बैंक की क्षमता 60 यूनिट तक की है। यह यह क्षमता बढ़ा दी जाए व लोगों को रक्तदान करने के लिए प्रोत्साहित किया जाए तो यह समस्या अपने आप समाप्त हो जाएगीव लोगों को राहत मिलेगी।             



कोई टिप्पणी नहीं:

खबर एक नजर में देखे

लेबल

पुरानी बीमारी से परेशान है तो आज ही शुरू करे सार्थक इलाज

पुरानी बीमारी से परेशान है तो आज ही शुरू करे सार्थक इलाज
हर बीमारी में रामबाण साबित होती है इलैक्ट्रोहोम्योपैथी दवा

फ़ॉलोअर

संपर्क करे-

Haridutt Joshi. Punjab Ka Sach NEWSPAPER, News website. Shop NO 1 santpura Road Bathinda/9855285033, 01645012033 Punjab Ka Sach www.punjabkasach.com

देश-विदेश-खेल-सेहत-शिक्षा जगत की खबरे पढ़ने के लिए क्लिक करे।

देश-विदेश-खेल-सेहत-शिक्षा जगत की खबरे पढ़ने के लिए क्लिक करे।
हरिदत्त जोशी, मुख्य संपादक, contect-9855285033

हर गंभीर बीमारी में असरदार-इलैक्ट्रोहोम्योपैथी दवा

हर गंभीर बीमारी में असरदार-इलैक्ट्रोहोम्योपैथी दवा
संपर्क करे-

Amazon पर करे भारी डिस्काउंट के साथ खरीदारी

google.com, pub-3340556720442224, DIRECT, f08c47fec0942fa0
google.com, pub-3340556720442224, DIRECT, f08c47fec0942fa0

यह ब्लॉग खोजें

Bathinda Leading NewsPaper

E-Paper Punjab Ka Sach 10 April 2025

HOME PAGE