Tuesday, January 19, 2021

गुरु पर्व से पहले गुरु ग्रंथ की बेअदबी:अजनाला के गुरुद्वारा शहीद बाबा दीप सिंह में पवित्र ग्रंथ के गुटका स्वरूप को अपवित्र किया, समाज में रोष


अजनाला।
श्री गुरु गोविंद सिंह के प्रकाशोत्सव पर्व से पहले कुछ शरारती तत्वों ने गुरु ग्रंथ साहिब का अपमान किया है। मंगलवार को गुरु पर्व से ठीक पहले अमृतसर में पवित्र गुरु ग्रंथ साहिब के गुटका स्वरूप को किसी ने अपवित्र कर दिया। इस मंदभागी घटना के बाद समाज में आक्रोश का माहौल देखने को मिल रहा है, वहीं पुलिस इसकी जांच में जुटी हुई है।

घटना अजनाला स्थित गुरुद्वारा शहीद बाबा दीप सिंह जी की है। इस बारे में गुरुद्वारे की प्रबंधक समिति के अध्यक्ष मलकीत सिंह और सुरजीत सिंह ने बताया कि मंगलवार सुबह जब वो गुरुघर माथा टेकने आए तो उन्हें जोड़ा घर पर एक लावारिस लिफाफा मिला।

लिफाफे में लिखकर डाला गया नोट, जिसमें आरोपी ने यह जान-बूझकर करने की बात कबूली है। साथ ही ऐसा फिर करने का ऐलान भी किया है।

लिफाफे में लिखकर डाला गया नोट, जिसमें आरोपी ने यह जान-बूझकर करने की बात कबूली है। साथ ही ऐसा फिर करने का ऐलान भी किया है।

यह सब था लावरिस मिले लिफाफे में

इसमें पवित्र गुरु ग्रंथ साहिब का गुटका स्वरूप था, जिसके अंग छिन्न-भिन्न हालत में मिले। साथ ही एक सफेद कागज भी मिला। इस पर पंजाबी में लिखा है, 'मां चिंतपूर्णी, फतेहगढ़ चूड़िया..., कोई मेरा कुछ नहीं बिगड़ सकता, मैं फिर करूंगा...'। हालांकि कुछ शब्द और हैं, जिन्हें समझने में दिक्कत हो रही है।

हिंदू-सिख दोनों मान्यताओं के लोग नाराज

इस घटना के बाद इलाके में रोष का माहौल है। एक ओर सिख समुदाय आरोपी को ढूंढ निकालने और उसे सख्त से सख्त सजा की मांग कर रहा है, वहीं आसपास के शहरों से हिंदू जत्थेबंदियों के लोग भी मौके पर जुटना शुरू हो चुके हैं। उनका कहना है कि उन्हें भी यह ओछी हरकत नागंवार गुजरी है। ऐसे शख्स का पुलिस को जल्द से जल्द पता लगाना चाहिए। हमारी भावनाएं सिख भाइयों की आस्था के साथ हैं। हर हाल में कार्रवाई होनी चाहिए।

क्या कहना है पुलिस का?


मौके पर पहुंचे अजनाला के DSP विपन कुमार का कहना है कि गुरुघर में पवित्र ग्रंथ के गुटका स्वरूप के साथ अभद्रता का मामला सामने आया है। मामला दर्ज करके आगे की जांच शुरू कर दी गई है। जल्द ही आरोपी को गिरफ्तार कर लिया जाएगा।

ਬਠਿੰਡਾ ਚ ਅਕਾਲੀ ਦਲ ਨੂੰ ਝਟਕਾ , ਸਰੂਪ ਚੰਦ ਸਿੰਗਲਾ ਦੇ ਨਜ਼ਦੀਕੀ ਆਗੂ ਡਿੰਪੀ ਬਾਗਲਾ ਅਤੇ ਕੁਲਦੀਪ ਸਿੰਘ ਢੱਲਾ ਕਾਂਗਰਸ ਵਿਚ ਹੋਏ ਸ਼ਾਮਲ

                    ਜੈਜੀਤ ਜੌਹਲ ਨੇ ਪਾਰਟੀ ਚ ਕੀਤਾ ਸ਼ਾਮਲ  

ਬਠਿੰਡਾ। ਬਠਿੰਡਾ ਸ਼ਹਿਰ ਵਿੱਚ ਸ਼੍ਰੋਮਣੀ ਅਕਾਲੀ ਦਲ ਨੂੰ ਅੱਜ ਉਸ ਸਮੇਂ ਵੱਡਾ ਝਟਕਾ ਲੱਗਾ ਜਦੋਂ ਦੋ ਸੀਨੀਅਰ ਅਕਾਲੀ ਆਗੂ  ਪਾਰਟੀ ਛੱਡ ਕੇ ਕਾਂਗਰਸ ਵਿੱਚ ਸ਼ਾਮਲ ਹੋ ਗਏ। ਸਾਬਕਾ ਮੰਤਰੀ ਸਰੂਪ ਚੰਦ ਸਿੰਗਲਾ ਦੇ ਨਜ਼ਦੀਕੀ ਆਗੂ ਡਿੰਪੀ ਬਾਗਲਾ ਅਤੇ ਕੁਲਦੀਪ ਸਿੰਘ ਢੱਲਾ ਨੇ ਅੱਜ  ਕਾਂਗਰਸ ਪਾਰਟੀ ਵਿਚ ਸ਼ਾਮਲ ਹੋਣ ਦਾ ਐਲਾਨ ਕੀਤਾ। ਸੀਨੀਅਰ ਕਾਂਗਰਸੀ ਆਗੂ ਜੈਜੀਤ ਜੌਹਲ ਨੇ ਦੋਵਾਂ ਅਕਾਲੀ  ਆਗੂਆਂ ਨੂੰ ਕਾਂਗਰਸ ਪਾਰਟੀ ਵਿੱਚ ਸ਼ਾਮਲ ਕਰਦਿਆਂ  ਪੂਰਾ ਮਾਣ ਸਨਮਾਨ ਦੇਣ ਦਾ ਭਰੋਸਾ ਦਿਵਾਇਆ । ਦੋਵਾਂ ਆਗੂਆਂ ਨੇ ਇਸ ਮੌਕੇ ਕਿਹਾ ਕਿ ਅਕਾਲੀ ਦਲ ਵੱਲੋਂ ਟਕਸਾਲੀ ਵਰਕਰਾਂ ਤੇ ਆਗੂਆਂ ਦੀ ਅਣਦੇਖੀ ਕੀਤੀ ਜਾ ਰਹੀ ਹੈ ਜਿਸ ਕਾਰਨ ਟਕਸਾਲੀ ਆਗੂ ਤੇ ਵਰਕਰ ਪਾਰਟੀ ਛੱਡ ਰਹੇ ਹਨ। ਨਗਰ ਨਿਗਮ ਚੋਣਾਂ ਦੌਰਾਨ ਟਿਕਟਾਂ ਦੇ ਦਾਅਵੇਦਾਰ ਦੋਵਾਂ ਆਗੂਆਂ ਨੇ ਕਿਹਾ ਕਿ ਸ਼੍ਰੋਮਣੀ ਅਕਾਲੀ ਦਲ ਹੁਣ ਆਪਣੀਆਂ ਨੀਤੀਆਂ ਤੋਂ ਪਿਛਾਂਹ ਹਟ ਗਿਆ ਹੈ ।


ਉਨ੍ਹਾਂ ਕਿਹਾ ਕਿ ਸੂਬੇ ਤੋਂ ਇਲਾਵਾ ਦੇਸ਼ ਭਰ ਦੇ ਕਿਸਾਨ ਦਿੱਲੀ ਬਾਰਡਰਾਂ ਤੇ ਹੱਡ ਚੀਰਵੀਂ ਠੰਢ ਦੌਰਾਨ ਸੰਘਰਸ਼ ਕਰ ਰਹੇ  ਪਰ ਅਕਾਲੀ ਦਲ ਨੇ  ਕੇਂਦਰ ਸਰਕਾਰ ਵੱਲੋਂ ਬਣਾਏ ਖੇਤੀ ਵਿਰੋਧੀ ਬਿੱਲਾਂ ਦੀ ਹਮਾਇਤ ਕਰਕੇ ਆਪਣੇ ਆਪ ਨੂੰ ਪੰਜਾਬ ਵਿਰੋਧੀ ਵਜੋਂ ਦਰਸਾ ਦਿੱਤਾ ਹੈ । ਉਨ੍ਹਾਂ ਕਿਹਾ ਕਿ ਅਕਾਲੀ ਦਲ ਵੱਲੋਂ ਕਿਸਾਨਾਂ ਪ੍ਰਤੀ ਅਪਣਾਏ ਰਵੱਈਏ ਅਤੇ ਨਗਰ ਨਿਗਮ ਚੋਣਾਂ ਦੌਰਾਨ ਟਿਕਟਾਂ ਦੀ ਵੰਡ ਤੋਂ ਦੁਖੀ ਹੋ ਕੇ ਉਹ ਕਾਂਗਰਸ ਪਾਰਟੀ ਵਿੱਚ ਸ਼ਾਮਲ ਹੋਏ ਹਨ।
 ਇਸ ਮੌਕੇ ਸੀਨੀਅਰ ਕਾਂਗਰਸੀ ਆਗੂ ਜੈਜੀਤ ਜੌਹਲ ਨੇ ਕਿਹਾ ਕਿ ਅਕਾਲੀ ਦਲ ਦੇ ਡੁੱਬਦੇ ਜਹਾਜ਼ ਵਿਚੋਂ ਲੋਕ ਛਾਲਾਂ ਮਾਰ ਕੇ ਕਾਂਗਰਸ ਵੱਲ ਆ ਰਹੇ ਹਨ ਉਨ੍ਹਾਂ ਕਿਹਾ ਕਿ ਕਾਂਗਰਸ ਪਾਰਟੀ ਵਿੱਚ ਸ਼ਾਮਲ ਆਉਣ ਵਾਲੇ ਹਰ ਆਗੂ ਤੇ ਵਰਕਰ ਦਾ ਪੂਰਾ ਮਾਣ ਸਨਮਾਨ ਕੀਤਾ ਜਾਵੇਗਾ। ਜ਼ਿਕਰਯੋਗ ਹੈ ਕਿ ਵਾਰਡ ਨੰਬਰ ਅਠਾਈ ਤੋਂ ਟਿਕਟ ਦੇ ਦਾਅਵੇਦਾਰ ਯੂਥ ਅਕਾਲੀ ਆਗੂ ਡਿੰਪੀ ਬਾਗਲਾ ਸਾਬਕਾ ਅਕਾਲੀ ਵਿਧਾਇਕ ਸਰੂਪ ਚੰਦ ਸਿੰਗਲਾ ਦੀ  ਸੱਜੀ ਬਾਂਹ ਵਜੋਂ ਜਾਣੇ ਜਾਂਦੇ ਸਨ।
ਇਸ ਮੌਕੇ ਮਾਸਟਰ ਹਰਮੰਦਰ ਸਿੰਘ , ਰਾਮ ਵਿਰਕ ,ਸੰਜੀਵ ਬਬਲੀ ਆਦਿ ਕਾਂਗਰਸੀ ਵਰਕਰ ਹਾਜਰ ਸਨ।

बठिंडा शिअद पार्टी के प्रवक्ता चमकौर मान पर महिला से छेड़छाड़ का केस दर्ज



बठिंडा: शिअद के प्रवक्ता व सीनियर नेता चमकौर सिंह मान पर बठिंडा पुलिस ने एक महिला से छेड़छाड़ करने का मामला दर्ज किया है। पीड़ित महिला पहले शिअद की वर्कर थी और 2017 के विधान सभा चुनाव से पहले वह चमकाैर सिंह मान के साथ अकाली दल छोड़कर कांग्रेस पार्टी को ज्वाइन किया था, लेकिन कुछ समय बाद लोकसभा चुनाव में  चमकाैर मान कांग्रेस को अलविदा कह  दोबारा अकाली दल में शामिल हो गए थे। 

हालांकि, इस मामले में  अभी आरोपी की गिरफ्तारी होनी बाकी है। थाना सिविल लाइन पुलिस को शिकायत देकर लाल सिंह बस्ती निवासी  महिला छिंदरपाल कौर ने बताया कि वह अपने किसी काम के लिए कोर्ट कांप्लेक्स के नजदीक स्थित डाकखाने के पास आई थी। इस दौरान चमकौर मान वहां पर आया और उसके साथ अश्लील हरकत व छेड़छाड़ शुरू कर दी। पीड़िता का आरोप है कि उक्त शिअद नेता उसे पहले भी तंग परेशान करता था। पीड़िता ने बताया कि वही  आज मंगलवार को जब वह आयकर विभाग के दफ्तर के पास पहुंची, तो आरोपित चमकौर सिंह मान ने उसके साथ दोबारा छेड़छाड़ की, जब उसने विरोध किया, तो उसने उसके कपड़े भी फाड़ दिए। थाना सिविल लाइन के सब इंस्पेक्टर कर्मजीत सिंह ने बताया कि पीड़ित महिला छिंदरपाल कौर की शिकायत पर शिअद नेता चमकौर सिंह मान पर मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।

गौर होकि पीड़ित महिला पहले शिअद की वर्कर थी और विधान सभा चुनाव से पहले वह चमकाैर सिंह मान के साथ कांग्रेस पार्टी को ज्वाइन किया था,

लेकिन कुछ समय बाद चमकाैर मान लोकसभा चुनाव के दौरान दोबारा अकाली दल में शामिल हो गए थे।  दूसरी तरफ चमकोर मानने उन पर लगाए गए आरोपों को निराधार व मनगढ़ंत बताया है उनका कहना है कि यह मामला राजनीतिक रंजिश के तहत तहत उन पर दर्ज करवाया जा रहा है।

बीबीवाला गांव में रिश्तेदारों ने महिला से की मारपीट, बाल भी उखाड़ दिए




बठिंडा.
बीबीवाला गांव में एक महिला के साथ उसके ही रिश्तेदारों ने हमला कर दिया और जमकर मारपीट की। महिला को पीटते एक व्यक्ति ने बीच बचाव करते हुए महिला को सरकारी अस्पताल में दाखिल करवाया। जहां थाना कैंट पुलिस ने पीड़ित महिला के बयानों के आधार पर मामले में कार्रवाई शुरू कर दी है। जानकारी के अनुसार सरकारी अस्पताल में दाखिल अमरजीत कौर पत्नी राम सिंह वासी बीबीवाला ने बताया कि 2018 में  जमीन विवाद के चलते उसके पति राम सिंह, उसके दो देवरों दर्शन सिंह, गुरमीत सिंह तथा बेटे गुरप्रीत सिंह पर दो लोगों के कत्ल के मामले में जेल भेज दिया था। तब से वो घर में अकेली रह गई थी। वह लंबे समय से अपने रिश्तेदारों के यहां रह रही थी। 18 जनवरी को वो अपने घर पहुंची,उसने बिजली मीटर लगवाने के लिए पावरकाम के मुलाजिमों को बुला रखा था। जैसे ही उसने अपने घर का दरवाजा खोला तो उनके रिश्तदार तीन-चार महिलाएं और पुरुषों ने उसे बालों से पकड़कर अपने घर ले गए, जहां उसकी जमकर मारपीट की और उसे सड़क पर घसीटा गया। यहां तक कि उसके बाल भी उखाड़ दिए गए। उसकी चिखने चिल्लाने की आवाजें सुनकर वहां से गुजर रहे एक पटवारी ने उसे बचाया और सरकारी अस्पताल में दाखिल करवाया गया। अमरजीत कौर ने बताया कि उक्त लोग उसे गांव में रहने नहीं दे रहे हैं और न ही खेती करने दे रहे हैं। जबकि उसके घर से काफी सामान चोरी भी हो चुका है। 


बठिंडा में कोरोना वैक्सीन को लेकर फैली अफवाहों को दूर करने के लिए अधिकारी उतरे मैदान में



  • -डीसी, सिविल सर्जन के साथ सभी प्रोग्राम अफसरों ने जागरुकता मुहिम की शुरू 
  • -वैक्सीन को लेकर फैलाई जा रही अफवाहों से सचेत रहने की जरूरत, पूरी तरह से सुरक्षित है: डीसी    
  • -मंगलवार तक 166 सेहत कर्मियों ने लगवाई करोना वैक्सीन, पहले दिन के मुकाबले आए दिन बढ़ रही वैक्सीन लगवाने वालों की तादाद

बठिंडा. जिले में पहले दिन के मुकाबले लगातार वैक्सीन लगवाने वाले लोगों की तादाद में इजाफा हो रहा है। मंगलवार तक जिले में 166 सेहत कर्मियों ने वैक्सीन लगवाई है। वही वैक्सीन को लेकर किए जा रहे दुष्प्रचार को लेकर सेहत व जिला प्रशासन ने कमर कसते हुए लोगों को जागरुक करने का फैसला लिया है। इसी क्रम में डीसी बठिंडा बी श्रीनिवासन, सिविल सर्जन डा. तेजवंत सिंह ढिल्लों व विभिन्न विभाग प्रमुखों के साथ प्रोग्राम अफसरों ने वैक्सीन लगाने के लिए सेहत कर्मियों के साथ दूसरे विभागों के फ्रंट लाइन वर्करों को जागरुक करना शुरू किया। जिले में पहला वैक्सीन एम्स के डायरैक्टर डी.के. सिंह और दूसरा वैक्सीन सिविल सर्जन डा. तेजवंत सिंह ढिल्लों के बाद सेहत विभाग के डाक्टरों और कोविड-19 के दौरान अग्रणी होकर काम करने वाले सेहत विभाग के योद्धाओं की तरफ से लगवाए जा रहे हैं। अब तक जिले के अंदर मंगलवार दोपहर तक 166 सेहत कामगारों की तरफ से करोना वैक्सीन के टीके लगवाए जा चुके हैं। यह टीके लगवाने के लिए सेहत वर्करों की संख्या में भी दिन-ब-दिन विस्तार हो रहा है। यहां बताते चले कि सरकारी कर्मियों के मुकाबले प्राइवेट अस्पतालों के सेहत कर्मियों के अंदर वैक्सीन को लेकर ज्यादा उत्साह देखा गया।   

डिप्टी कमिश्नर बी.श्रीनिवासन ने बताया कि मार्च 2020 से हम इस महामारी के साथ जूझ रहे हैं, परन्तु इस नए साल के शुरू में यह एक अच्छी शुरुआत हुई है और हमें सभी को कोरोनावायरस को रोकने के लिए इस मुहिम में हिस्सेदार बनना चाहिए। लोगों को टीकाकरन सम्बन्धित किसी तरह की अफवाहों से सचेत करते कहा कि यह टीका पूरी तरह के साथ सुरक्षित है। हम भरोसा दिलाना चाहते हैं कि लोगों को डरने की कोई ज़रूरत नहीं है। अब तक जितने भी लोगों को टीका लगा है वह पूरी तरह से शारीरिक व मानसिक तौर पर स्वस्थ्य है व उन्हें किसी भी तरह की समस्या नहीं आई है। 

सिविल सर्जन डा. तेजवंत सिंह ढिल्लों ने हैल्थ केयर वर्करों को कोविड -19 टीकाकरन करवाने की अपील की है। उन्होंने कहा कि यह दवा पूरी तरह के साथ सुरक्षित है। कोरोनावायरस को रोकने के लिए टीकाकरण बहुत ज़रूरी है। उन्होंने अपील करते हुए कहा कि लोगों में फैल रही अफवाहों को दूर करने के लिए सेहत विभाग को मिशाल पेश करनी पड़ेगी। सिविल सर्जन डा. ढिल्लों ने बताया कि जिले के अंदर जिला सरकारी हस्पताल के इलावा सी.एच.सी. गोनियाना और एस.डी.एस. तलवंडी साबो में कोविड वैक्सीन के टीके लगाए जा रहे हैं। इसके अंतर्गत जिला हस्पताल, सी.एच.सी. गोनियाना और एस.डी.एस तलवंडी साबो में बनाऐ गए सैंटरें में 16 जनवरी को 36 और 18 जनवरी को 49 सेहत विभाग के साथ सबंधित आधिकारियों और सेहत कर्मियों के टीके लगाए गए हैं। इसी तरह जिला हस्पताल के इलावा आदेश हस्पताल और दिल्ली हार्ट इंस्टीट्यूट में बनाऐ गए सेंटरों में 19 जनवरी को 81 सेहत कर्मियों को कोरोना वैक्सीन की डोज़ दी गई है। उन्होंने बताया कि इस मुहिम के पहले पड़ाव के अंतर्गत जिले को 14370 कोवीशील्ड वैक्सीन की डोज प्राप्त हुई हैं, जिनमें से 1370 मिलटरी हस्पताल बठिंडा और 450 डोज़ एम्स बठिंडा को वितरित की गई हैं। इस तरह बाकी बचतीं 12550 वैक्सीन डोज सेहत विभाग की तरफ से सरकारी और निजी क्षेत्र के हैल्थ केयर वर्करों को लगाई जानी हैं।  


बठिंडा में पहली बार 26 जनवरी को नहीं होगा जिला स्तरीय समागम में बच्चों का कार्यक्रम . ड्रोन उड़ाने पर भी लगाई गई पाबंदी


बठिडा.
26 जनवरी को गणतंत्र दिवस समारोह को लेकर एडीसी राजदीप सिंह बराड़ की तरफ से जिला प्रबंधकीय कांप्लेक्स में मीटिग की गई। उन्होंने बताया कि इस बार सरकारी राजिदरा कालेज के खेल स्टेडियम में जिला स्तरीय समागम मनाया जाएगा, जिसमें पंजाब के कैबिनेट मंत्री साधू सिंह धर्मसोत तिरंगा फहराने की रस्म अदा करेंगे। इस बार कोरोना के चलते समागम सादे ढंग से मनाया जाएगा। स्कूली बच्चों का सभ्याचार कार्यक्रम नहीं होगा। मीटिग के दौरान एडीसी ने समागम को मनाने के लिए होने वाली तैयारियों को लेकर अधिकारियों से जानकारी हासिल की और उन्हें तैयारियों को अंतिम रूप देने के आदेश भी दिए। वही जिले के अंदर सुरक्षा की दृष्टि से 26 जनवरी (दिन मंगलवार) 2021 को ड्रोन उडाने पर मुकंमल तौर पर पाबंदी लगाने के हुक्म जारी किए हैं। यह हुक्म फ़ौजदारी विवरण संहिता 1973 (1974 का एक्ट नं:2) की धारा 144 अधीन प्राप्त हुए अधिकारों का प्रयोग करते हुए जिला मजिस्ट्रेट बठिंडा की तरफ से जारी किये गए हैं। जिला मैजिस्ट्रेट ने जारी हुक्मों में बताया कि 26 जनवरी 2021 गणतंत्र दिवस समारोह के मौके वी.आई.पी. सुरक्षा और मौजूदा हालात को ध्यान में रखते हुए जिले के अंदर ड्रोन उडाने पर मुकम्मल पाबंदी लगाई गई है।

उन्होंने बताया कि समारोह की फूल ड्रेस रिहर्सल 24 जनवरी को की जाएगी। बैठक के दौरान राजदीप सिंह बराड़ ने पुलिस विभाग को समागम के दौरान ट्रैफिक कंट्रोल करने, पार्किंग, डिप्टी डायरेक्टर सैनिक भलाई विभाग को आर्मी विभाग से तालमेल कर मिलिट्री बैंड व कमिश्नर नगर निगम खेल स्टेडियम के अंदर, बाहर, आस पास व पखाने की साफ सफाई का प्रबंध करने को कहा। इसके अलावा विभिन्न विभागों से संबंध अधिकारियों को हिदायत जारी करते हुए कहा कि 25 जनवरी तक शहर के अंदर प्रमुख चौकों की सजावट पर स्वागती गेट लगाए जाएं। एडीसी ने सेहत विभाग के अधिकारियों को आदेश दिए कि आम दिनों की रिहर्सल में प्राथमिक डाक्टरी मदद, डाक्टरी टीमों व एबुलेंस गाड़ी के साथ सेहत सुविधाओं के प्रबंध किए जाएं। इस दौरान गुरबीर सिंह कोहली, एसपी मेजर सिंह, जिला विकास व पंचायत अधिकारी सुखपाल सिंह, जिला उद्योग केंद्र व महासचिव प्रती महिदर सिंह बराड़, जिला मास अधिकारी सरोज रानी, मुख्य खेतीबाड़ी अधिकारी सरोज रानी, डा. बहादर सिंह भी मौजूद थे।

मोगा में हफ्ता वसूली का विरोध किया तो रात में घेरकर पीटा; 60 हजार लूटे और कार को आग लगाई

 


मोगा। 
मोगा में गुंडागर्दी का मामला सामने आया है। एक दुकानदार को रात के अंधेरे में घेरकर न सिर्फ पीटा, बल्कि 60 हजार की नकदी लूट ली और कार को भी आग लगा दी। मामले की शिकायत मिलने के बाद ही पुलिस ने पीड़ित के बयान दर्ज करके आगे की जांच शुरू कर दी है। फिलहाल वह अस्पताल में भर्ती है। शिकायतकर्ता का आरोप है कि इलाके के कुछ बदमाश अक्सर अवैध वसूली करते थे। कभी 500 तो कभी 1000 हजार रुपए ले जाते थे। दुकानदार ने पैसे देने से इनकार कर दिया तो इसी के चलते सबक सिखाने के लिए ऐसा किया गया है।

घटना शनिवार देर रात की है, मगर इस संबंध में सोमवार को पीड़ित के बयान पर पुलिस ने कार्रवाई आगे बढ़ाई है। मोगा के सरकारी अस्पताल में दाखिल गांव गलौटी के 45 वर्षीय जसवीर सिंह ने बताया कि उसकी गांव से 13 किलोमीटर दूर गांव शाह बुक्कर में स्पेयर पार्टस की दुकान है। पिछले छह महीने के गांव के नशेड़ी किस्म के युवक उससे हफ्ता मांग रहे थे। कभी 500 तो कभी 1000 रुपए जबरन ले जाते थे। पांच-छह बार रुपए दे चुका था। बाद में उसने हफ्ता देने से साफ इन्कार कर दिया। इसके चलते वो युवक रंजिश रखने लगे।

कस्बा कोट ईसे खां के निकट जल रही जसवीर सिंह की कार।
कस्बा कोट ईसे खां के निकट जल रही जसवीर सिंह की कार।

शनिवार रात को जब वह दुकान बंद करके अपने चचेरे भाई हरविंदर सिंह के साथ कार से घर लौट रहा था तो गांव मल्लू बानिया में पहुंचे तो एक बड़ी हरे रंग की कार में आए बदमाशों ने उनकी कार के आगे लगाकर रोक दी। उसमें वही पहलेवसूली करने वाले युवक थे। उसे कार से नीचे उतारकर मारपीट शुरू कर दी। कार समेत जिंदा जलाने की धमकी देने लगे।

युवकों ने उसे जमीन पर गिराकर टांगों और बाजू पर हमला कर दिया। चचेरे भाई ने छुड़ाने की कोशिश की तो उसे डराकर भगा दिया। इसके बाद हमलावरों ने उसकी जेब से 60 हजार रुपए की नकदी निकाल ली और उसकी कार लेकर फरार हो गए। बाद में कस्बा कोट ईसे खां के निकट कार खड़ी करके उसमें आग लगा दी।

पता चलने पर परिजनों ने जसवीर को घायल हालत में मोगा के सरकारी अस्पताल में लाकर दाखिल करवाया। रविवार को अस्पताल प्रशासन की तरफ से पुलिस को जानकारी दी गई तो पुलिस ने पहुंचकर पीड़ित के बयान दर्ज किए। बहरहाल पुलिस अज्ञात बदमाशों के खिलाफ केस दर्ज करके आगे की जांच में जुटी है।

चार्टर्ड अकाउंटेंट ने पंजाब के जीरकपुर में फंदा लगाकर की खुदकुशी, सुसाइड नोट में बलटाना चौकी इंचार्ज समेत 6 को ठहराया जिम्मेदार


जीरकपुर
 एक चार्टर्ड अकाउंटेंट जिंदगी से ऐसे हारा कि उसने आत्महत्या करना मुनासिब समझा। पंजाब के जीरकपुर में यह मामला सामने आया। प्रीत कालोनी बलटाना में एक CA ने फंदा लगाकर खुदकुशी कर ली। मृतक की पहचान दीपक अरोड़ा के रूप में हुई है। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर जांच शुरू कर दी है।

शव के पास से पुलिस को एक सुसाइड नोट मिला है, जिसमें बलटाना चौकी इंचार्ज कुलवंत सिंह समेत छह लोगों को मौत को गले लगाने के लिए जिम्मेदार ठहराया गया है। कुलवंत के अलावा 5 लोगों में दविंदर सिंह, प्रेम मनोचा, मनी गुप्ता, रवि अरोड़ा व विपिन छाबड़ा ऑनर होटल डायमंड लीफ शामिल हैं।

4 पन्नों के सुसाइड में लिखा गया है कि होटल के पार्टनर, चौकी इंचार्ज कुलवंत सिंह के साथ मिलकर उसे ब्लैकमेल कर रहे हैं। यही नहीं उसे जान से मारने और परिवार को नुकसान पहुंचाने की धमकी भी दी जा रही है। परिवार के सदस्यों ने भी अपने बयानों में दीपक को परेशान किए जाने की बात कही है।

सुसाइड नोट के अनुसार, दीपक अरोड़ा के बैंक खाते की चेक बुक चुरा ली गई थी। दविंदर राणा फर्जी साइन करके उसमें पैसे भरकर दीपक के अकाउंट से पैसे निकाल रहा था और उसको ब्लैकमेल कर रहा था। इस वजह से दीपक मानसिक तौर पर काफी परेशान था और आखिरकार उसे सुसाइड कर ली।

SSP मोहाली सतिंदर सिंह ने बताया कि शिकायत के आधार पर मामला दर्ज किया गया है। यदि चौकी इंचार्ज पर लगे आरोप सिद्ध हुए तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। वहीं बलटाना चौकी इंचार्ज कुलवंत सिंह का कहना है कि मामले से उसका कोई लेना देना नहीं है। उन्हें रंजिश के तहत फंसाया जा रहा है।

कोविड-19 के चलते अटारी-वाघा बॉर्डर पर नहीं होगी गणतंत्र दिवस की परेड और बीटिंग द रिट्रीट सेरेमनी, दर्शकों की एंट्री पर भी रहेगा बैन


अमृतसर। 
कोरोना महामारी का बड़ा साइड इफेक्ट साल के पहले ही जश्न पर देखने को मिल रहा है। दरअसल, अटारी-वाघा बॉर्डर पर हर साल 26 जनवरी को होने वाली गणतंत्र दिवस परेड इस बार नहीं होगी। भारत और पाकिस्‍तान के जवानों की कोई संयुक्‍त परेड भी नहीं होगी।

रिट्रीट सेरेमनी भी नहीं होगी। परंपरा के अनुसार, सिर्फ राष्‍ट्रीय ध्‍वज फहराने और शाम को उतारने की रस्‍म अदा की जाएगी। दर्शकों और सैलानियों को भी बॉर्डर तक आने की अनुमति नहीं होगी। कोरोना महामारी फैलने के मद्देनजर सीमा सुरक्षा बल (BSF) द्वारा यह कदम उठाया गया है।

बता दें कि साल 2020 में कोरोना महामारी फैलने के कारण 7 मार्च से अटारी-वाघा बॉर्डर पर दर्शकों की एंट्री बैन है। बॉर्डर पर शाम को होने वाली रिट्रीट सेरेमनी भी रद्द है। भारत और पाकिस्‍तान के बीच तनाव पूर्ण हालात के कारण पिछले कई अवसरों पर मिठाई देने की परंपरा भी नहीं निभाई जा रही है।

गौरतलब है कि अटारी-वाघा बॉर्डर पर रोज शाम को रिट्रीट सेरेमनी आयोजित की जाती है। 15 अगस्‍त को स्‍वतंत्रता दिवस और 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस पर विशेष परेड भी होती थी। इसमें काफी संख्‍या में दर्शक व सैलानी मौजूद रहते थे। लेकिन, इस बार गणतंत्र दिवस पर भी अटारी-वाघा बॉर्डर सूना रहेगा।

काम की खबर:पंजाब में 21 जनवरी से खुलेंगे कॉलेज और यूनिवर्सिटी; दिव्यांगों को मिलेगी विशेष छूट, नियम और शर्तें जारी

 


  • ऑफलाइन और ऑनलाइन दोनों माध्यमों से पढ़ाई करवाई जाएगी
  • दिव्यांग विद्यार्थियों को अपनी इच्छानुसार क्लास लगाने की छूट होगी
  • चंडीगढ़। पंजाब में 21 जनवरी से सभी सरकारी व निजी कॉलेज और विश्वविद्यालय खुलने जा रहे हैं। इस संबंध में उच्च शिक्षा विभाग ने पत्र भी जारी कर दिया है, जिसमें नियमों और शर्तों का उल्लेख है। साथ ही दिव्यांगों को विशेष छूट देने का ऐलान भी किया है। कोरोना नियमों का सख्त पालन करने को कहा गया है।

    सरकारी प्रवक्ता ने बताया कि ऑफलाइन और ऑनलाइन दोनों माध्यमों से पढ़ाई करवाई जाएगी। जो ऑनलाइन पढ़ना चाहे, वो ऑनलाइन पढ़े और जो कॉलेज आना चाहे वो कैंपस में आए। सेमेस्टर और वार्षिक परीक्षाएं ऑफलाइन माध्यम से होंगी। दिव्यांग विद्यार्थियों को अपनी इच्छानुसार क्लास लगाने की छूट होगी।

    कहा गया है कि दिव्यांगों पर कैंपस में आने का दबाव नहीं बनाया जाएगा। विश्वविद्यालयों और कॉलेजों में कोविड-19 के निर्देशों का पालन करते हुए हॉस्टल खोले जाएंगे। हॉस्टल का कमरा प्रति विद्यार्थी या कमरे के आकार के अनुसार अपेक्षित दूरी को ध्यान में रखते हुए अलॉट किया जाएगा।

    हॉस्टल अलॉटमेंट में अंतिम वर्ष के विद्यार्थियों को प्राथमिकता दी जाएगी। कैंटीन स्वास्थ्य विभाग के निर्देशानुसार खोली जाएगी। वहीं विश्वविद्यालयों और कॉलेजों को केंद्र सरकार/पंजाब सरकार द्वारा समय-समय पर जारी किए जाने वाले निर्देशों का पालन करना भी सुनिश्चित करना होगा।

बठिंडा में कोर्ट रोड़ पर वाहन खड़ा करने को लेकर हुए विवाद में भीड़े दो गुट, आधा दर्जन लोग घायल


बठिंडा.
गत सोमवार देर रात्रि कोर्ट रोड़ पर वाहन खड़ा करने को लेकर आमने-सामने रहते दो गुटों में विवाद हो गया। विवाद इतना बढ़ गया कि दोनों गुटों के लोगों ने एक दूसरे पर लोहे की राडों, डंडों तथा सरियों से हमला करके एक दूसरे को गंभीर रूप से घायल घायल कर दिया। इस झगड़े में आधा दर्जन से ज्यादा लोग घायल हो गए। घटना की सूचना मिलते ही समाजसेवी संस्था नौजवान वेलफेयर सोसायटी के वालंटियर जनेश जैन, राकेश जिंदल, रवि बांसल एंबुलेंस लेकर मौके पर पहुंचे तथा घायल गगन कुमार पुत्र नोथैली राम, रूपेश कुमार पुत्र निरंजन कुमार, राजेश कुमार पुत्र सत्तो राम, सुभाष कुमार पुत्र सत्तो राम, नदीम पुत्र यातून तथा मोसीन पुत्र यजूदीन को को तुरंत सिविल अस्पताल पहुंचाया। वहीं मामले की जानकारी पुलिस को दी गई। पुलिस ने मामले की जांच कर रही ही है। उधर, दूसरी तरफ गोनियाना रोड पर डेरा ब्यास के समीप सड़क हादसे में स्कूटरी सवार दो युवक गगनदीप सिंह पुत्र बलबीर सिंह निवासी माल रोड़, फिरोजपुर तथा अजय कुमार पुत्र जेम्स निवासी माल रोड फिरोजपुर गंभीर रूप से घायल हो गए। इन दोनों घायलों को भी नौजवान सोसायटी की हाईवे एंबुलेंस टीम ने सिविल अस्पताल पहुंचाया।

नशा तस्करी के आरोप में तीन नामजद, दो गिरफ्तार

बठिंडा. जिला पुलिस ने गत सोमवार को 10 किलो भुक्की चूरा पोस्त व 20 लीटर अवैध शराब व 30 लीटर लाहन बरामद कर तीन तस्करों के खिलाफ मामला दर्ज किया है। इसमें दो आरोपितों को मौके पर गिरफ्तार कर लिया गया है, जबकि एक आरोपित की गिरफ्तारी होनी बाकी है। पुलिस ने सभी आरोपितों के खिलाफ नशा विरोधी एक्ट के तहत मामला दर्ज कर अगली कार्रवाई शुरू कर दी है। सीआइए स्टाफ के एसआइ हरजीवन सिंह के मुताबिक गत सोमवार को वह संतपुरा रोड नजदीक नहर के पास गश्त कर रहे थे। इस दौरान पुलिस ने शक के आधार पर आरोपित जसवीर सिंह निवासी गली नंबर दो गांधी नगर श्री मुक्तसर साहिब को रोककर उसकी तलाशी ली, तो उसके पास से 10 किलो भुक्की चूरा पोस्त बरामद हुआ। पुलिस ने आरोपित को मौके पर गिरफ्तार कर उसके खिलाफ थाना कोतवाली में एनडीपीएस एक्ट के तहत मामला दर्ज किया गया। वहीं थाना सदर बठिंडा के एएसआइ जसविंदर सिंह ने गुप्त सूचना के आधार पर बीड़ तलाब के बस स्टैंड के पास छापेमारी कर आरोपित जीत सिंह निवासी बस्ती नंबर दो बीड़ तलाब को 20 लीटर अवैध देसी शराब बरामद की गई। इसके अलावा थाना फूल के एएसआइ इकबाल सिंह ने भी गुप्त सूचना के आधार पर गांव भाईरूपा के बस स्टैंड के पास छापेमारी कर 30 लीटर लाहन बरामद की गई, जबकि आराेपित सुखदेव सिंह निवासी अगडाड़ फूल का भाईरूपा पहले ही फरार हो चुका था। पुलिस ने फरार आरोपित के खिलाफ एक्साइज एक्ट के तहत मामला दर्ज कर उसकी गिरफ्तारी के लिए प्रयास शुरू कर दिए है।


पंजाब यूनिवर्सिटी कैंपस खोलने को लेकर आज हो सकता है बड़ा फैसला, पंजाब सरकार के पत्र के बाद पीयू अधिकारी असमंजस में

 


चंडीगढ़ । पंजाब सरकार द्वारा पंजाब की सभी यूनिवर्सिटी के साथ ही चंडीगढ़ स्थित पंजाब यूनिवर्सिटी को भी 21 जनवरी से खोलने के निर्देश दिए हैं। लेकिन पंजाब यूनिवर्सिटी द्वारा कैंपस खोलने पर अभी फैसला नहीं हुए है। पंजाब यूनिवर्सिटी अधिकारियों की कैंपस खोलने को लेकर आज फैसला लिया जा सकता है। सोमवार को पंजाब सरकार के पत्र के बाद से ही पीयू अधिकारी असमंजस की स्थिति में हैं। जिक्रयोग है कि पंजाब यूनिवर्सिटी का एकेडिमक सत्र केंद्र सरकार के निर्देशों के तहत चलता है, जबकि पंजाब यूनिवर्सिटी की फाइनेंशियल शर्तों को पंजाब रुल्स के हिसाब से फोलो किया जाता है। पंजाब यूनिवर्सिटी फिलहाल कैंपस को खोलने के मूड में नहीं है।

पंजाब यूनिवर्सिटी कुलपति को पंजाब सरकार के उच्च शिक्षा विभाग(डायरेक्टर) की ओर से सोमवार को पत्र जारी हुआ है। जिसमें पंजाब यूनिवर्सिटी और सभी एफिलिएटेड कालेजों को 21 जनवरी 2021 से खोलने के निर्देश दिए हैं। पंजाब सरकार के उच्च शिक्षा निदेशक की ओर से जारी पत्र में पंजाब की सभी सरकारी और प्राइवेट यूनिवर्सिटी के साथ ही पंजाब यूनिवर्सिटी चंडीगढ़ को भी कैंपस खोलने के आदेश दिए गए हैं। कोविड-19 के कारण बीते करीब आठ महीने से पंजाब यूनिवर्सिटी कैंपस बंद है। मामले में पीयू के ही कुछ अधिकारियों का कहना है कि पंजाब सरकार के एकेडमिक को लेकर नियम पंजाब यूनिवर्सिटी पर लागू नहीं होते।

पंजाब यूनिवर्सिटी से एफिलिएटेड 11 कालेज चंडीगढ़ में हैं, जबकि 185 से अधिक पीयू एफिलिएटेड कालेज पंजाब में हैं। अब पंजाब सरकार के आदेशों को लेकर पंजाब यूनिवर्सिटी को ही फैसला लेना है। उधर चिट्ठी में यह भी साफ तौर पर लिखा गया है कि आगामी परीक्षाएं आफलाइन ही आयोजित करनी है। उधर पीयू डीयूआइ और अन्य अधिकारियों की हाल ही में हुई परीक्षा को लेकर बैठक में फरवरी में प्रस्तावित परीक्षाओं को आनलाइन ही कराने पर सहमति बनी थी। पंजाब सरकार के नए निर्देशों के बाद पंजाब यूनिवर्सिटी के लिए समस्या पैदा हो सकती हैं। पंजाब उच्च शिक्षा विभाग की ओर से जारी लेटर में यह भी कहा गया है कि स्टूडेंट्स को क्लास के लिए मजबूर नहीं किया जाए। पीयू और कालेजों की क्लास में आने वाले सभी स्टूडेंट्स कोविड-19 नियमों का पालन करेंगे।

चंडीगढ़ के कालेजों में नहीं आ रहे स्टूडेंट्स

पंजाब सरकार ने सोमवार को सभी कालेजों को खोलने के निर्देश दिए हैं। लेकिन यूटी प्रशासन के हायर एजुकेशन विभाग ने महीने पहले ही सभी कालेजों में पढ़ाई शुरु करने के निर्देश जारी कर दिए थे। पहले चरण में फाइनल ईयर स्टूडेंट्स को बुलाया गया था, लेकिन स्टूडेंट्स ने आफलाइन क्लास में कोई रुचि नहीं दिखाई। आखिर कालेजों को आनलाइन कक्षाओं को ही जारी रखना पड़ रहा है। पहले और दूसरे ईयर की कक्षाओं को भी बुलाने के निर्देश हो चुके हैं। लेकिन कालेज में स्टूडेंट्स की अटेंडेंस पांच फीसद से भी कम है। हास्टल में भी स्टूडेंट्स नहीं आ रहे हैं।

जालंधर में मवेशियों के लिए चारा लेने गए बुजुर्ग की बेरहमी से हत्या, खेत में पड़ा मिला शव


किशनगढ़ (जालंधर)।
 देहात क्षेत्र में हत्याओं का सिलसिला रुकने का नाम नहीं ले रहा है। लोहियां के अलावलपुर में दिव्यांग मां-बेटी की हत्या के बाद गांव नौगजा में सोमवार रात एक बुजुर्ग की बेरहमी से हत्या कर दी गई। उसका शव खेत में पड़ा मिला है। पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है। 

भगत सिंह ने बताया कि उसके पिता सेवा सिंह (72) मवेशियों के लिए चारा लेने के लिए खेतों की तरफ गए थे। जब वह देर रात तक घर लौटकर नहीं आया तो घरवाले उसकी तलाश करने निकले। काफी खोजबीन के बाद भी वह नहीं मिले। आसपास के लोगों और रिश्तेदारों के घर पर भी पता किया लेकिन उनके बारे में कोई जानकारी नहीं मिली। थक-हार कर परिवार के कुछ लोग खेतों में उन्हें ढूढ़ने पहुंचे तो वहां का नजारा देख सभी दंग रह गए। खेत में सेवा सिंह का खून से लथपथ शव पड़ा था। इसके बाद उन्होंने मामले की जानकारी पुलिस को दी। पुलिस ने मौके परपार्टी ने मौके पर पहुंचकर शव पोस्टमार्टम के लिए जालंधर सिविल अस्पताल भेज दिया। पुलिस अलग-अलग एंगल से हत्या के कारणों का पता लगाने की कोशिश कर रही है। 

लोहियां में हुआ था दिव्यांग मां-बेटे का कत्ल

बता दें कि पिछले दिनों लोहियां के गांव अलावलपुर में दिव्यांग मां-बेटे की कुल्हाड़ी से काटकर हत्या कर दी गई थी। पुलिस ने इस मामले में सनी नाम को युवक को गिरफ्तार करके मामला सुलझा दिया है। सनी ने पूछताछ में बताया था कि मां-बेटे के साथ किसी बात हुए विवाद के बाद भरी पंचायत मे उसे नग्न किया गया था। इसी बात को लेकर वह उनके गहरी रंजिश रखने लगा था। इसके बाद मौका पाकर उसने चिट्टे के नशे में दोनों की हत्या कर दी थी। 

पंजाब में घोटाला रोकने के लिए केंद्र सरकार ने बदली स्कालरशिप योजना की शर्ते



  • विद्यार्थियों की कुल फीस का 60 फीसद हिस्सा केंद्र और 40 फीसद हिस्सा राज्य सरकार की ओर से खर्च करने का प्रविधान

चंडीगढ़। एससी पोस्ट मैट्रिक स्कालरशिप में फिर से कोई घोटाला न हो, इसके लिए केंद्र सरकार ने अपनी नई स्कालरशिप योजना में कई बदलाव किए हैं। इन बदलावों को पंजाब सरकार ने मंजूर भी कर लिया है और केंद्र सरकार से वर्ष 2021-22 के लिए 563 करोड़ रुपये की राशि की मांग भी कर दी है। नई योजना के अनुसार विद्यार्थियों की कुल फीस का 60 फीसद हिस्सा केंद्र और 40 फीसद हिस्सा राज्य सरकार की ओर से खर्च करने का प्रविधान किया गया है।

 पहले कालेजों को भेजी जाती थी स्कालरशिप की राशि, अब विद्यार्थियों के बैंक खाते में जाएगी

केंद्र सरकार ने नई योजना में कहा है कि स्कालरशिप की राशि अब सीधे कालेजों को देने की बजाए विद्यार्थियों के खाते में जमा करवाई जाएगी। केंद्र सरकार अपना हिस्सा तब तक विद्यार्थियों के खाते में नहीं डालेगी जब तक राज्य सरकार अपने हिस्से का 40 फीसद हिस्सा नहीं जमा करवाएगी। इसके साथ ही विद्यार्थियों के आधार कार्ड से लिंक बैंक खातों को ही इस योजना के तहत लिया जाएगा। प्रदेश के समाज सशक्तिकरण विभाग की ओर से विद्यार्थियों को नई योजना के तहत स्कालरशिप के लिए दोबारा आवेदन करने के लिए कहा है।

कालेज फर्जी एडमिशन दिखाकर कर लेते थे घोटाला, इसलिए केंद्र सरकार ने किया शर्तो में बदलाव


दरअसल, केंद्र सरकार की ओर से ऐसा इसलिए किया जा रहा है क्योंकि इससे पहले 2012 से लेकर 2017 तक चली योजना में कालेजों ने फर्जी दाखिला दिखाकर करोड़ों रुपये का घोटाला किया। हाईकोर्ट के पूर्व जज व पूर्व विधायक निर्मल सिंह की अगुवाई में बनी विधानसभा की कमेटी ने इसे उजागर किया था। रिपोर्ट में कहा था कि कालेजों ने स्कालरशिप की राशि हासिल करने के लिए एक ही विद्यार्थी के तीन तीन कालेजों में दाखिले दिखाए हुए हैं। यह तथ्य भी सामने आए कि राज्य सरकारें अपने हिस्से की राशि अदा नहीं कर रही हैं। इसलिए नई योजना में केंद्र सरकार ने शर्तो में बदलाव कर दिया।

इस बारे में चीफ सेक्रेटरी विनी महाजन की ओर से सभी विभागों के सचिवों से बैठक की गई तो तब भी यह मामला उठा। मुख्य सचिव ने कहा कि नई योजना के लिए राज्य सरकार की ओर से स्वीकृति दे दी गई है। इससे पहले राज्य सरकार ने पिछले साल बीआर अंबेडकर स्कालरशिप योजना शुरू करने का एलान कर दिया था। इसके लिए ज्यादा आवेदन नहीं आए।


विभागीय सूत्रों का कहना है कि 4 जनवरी तक केवल 1.39 लाख आवेदन ही प्राप्त हुए हैं जबकि पंजाब के कालेजों में हर साल औसतन 3.15 लाख विद्यार्थी इस स्कालरशिप के लिए आवेदन करते हैं। जिसके बाद राज्य सरकार ने आवेदन लेने के लिए समय सीमा बढ़ाकर 19 जनवरी तक कर दी थी। मुख्य सचिव ने भी संबंधित विभागों से ज्यादा से ज्यादा विद्यार्थियों को इस योजना का फायदा दिलवाने के लिए कहा है ताकि 20 फरवरी तक केंद्र को प्रस्ताव भेजा जा सके।

पंजाब में अब सख्त कार्रवाई: एससी छात्रों की डिग्री, सर्टिफिकेट रोके तो कॉलेज पर होगी कार्रवाई, मान्यता को भी खतरा


बठिंडा।
हायर एजुकेशन के 3 दिन के अल्टीमेटम पर प्रदेश के एडेड व प्राइवेट कॉलेजों ने खास गंभीरता नहीं दिखाई और अभी भी प्रदेश के 30 हजार से ज्यादा अनुसूचित जाति विद्यार्थियों की डीएमसी एवं अन्य सर्टिफिकेट जारी नहीं किए गए। स्कॉलरशिप राशि की अदायगी के लिए विद्यार्थियों के भविष्य से खिलवाड़ करने वाले कॉलेजों पर कानूनी कार्रवाई हो सकती है, वहीं कॉलेजों की मान्यता भी खतरे में पड़ सकती है। पंजाब सरकार के उच्च शिक्षा विभाग ओर से 15 जनवरी को प्रदेश के तमाम 20 सरकारी व प्राइवेट यूनिवर्सिटियों और तमाम एडेड व प्राइवेट कॉलेजों के अलावा तमाम मेडिकल कॉलेजों को पत्र जारी करके 3 दिन के अंतराल में अनुसूचित जाति के विद्यार्थियों के रोकी गई डिग्री एवं सर्टिफिकेट तुरंत प्रभाव से जारी करने के कड़े निर्देश दिए थे।


2018 से जारी नहीं हुई स्कॉलरशिप, राशि रुकी तो एकमत होकर रोकी डिग्रियां

राज्य सरकार की ओर से पोस्ट मैट्रिक स्कॉलरशिप में गड़बड़ी की जांच का हवाला देते हुए सेशन 2018-19 से ही वजीफा राशि जारी नहीं की जा रही हालांकि केंद्र सरकार की ओर से इस मद में ग्रांट प्रदेश सरकार को मिल चुकी है। राज्य सरकार की ओर से की गई जांच में अभी तक कॉलेजों की ओर से 329 करोड़ रुपए की गड़बड़ी पाई गई हालांकि 15 मार्च 2018 तक की यह जांच 47% बताई गई। माना जा रहा है कि यह गड़बड़ी 500 करोड़ तक की हो सकती है। ऑडिट में 2183 प्राइवेट और 2126 सरकारी संस्थाएं शामिल की गई जहां पर 5,82139 विद्यार्थियों को स्कॉलरशिप दी गई है। सेशन 2015-16 में 328.72 करोड़, सेशन 2016-17 में 719.52 करोड़ जबकि सेशन 2017-18 में 625 करोड़ की राशि जारी हुई। लगातार तीन सेशन से राज्य भर के कॉलेजों में पोस्ट मैट्रिक स्कॉलरशिप जारी न होने पर एडेड व प्राइवेट कॉलेज विद्यार्थियों की डीएमसी व सर्टिफिकेट आदि रोकने को एकमत हो गए। वहीं कॉलेजों ने भी 2020-21 सेशन में एससी-एसटी विद्यार्थियों को दाखिला नहीं देने का फैसला किया। वहीं एससी-एसटी विद्यार्थियों से पूरी फीस भरवाकर उन्हें आशीर्वाद पोर्टल पर रजिस्टर्ड किया जा रहा है ताकि स्कॉलरशिप सीधे विद्यार्थी के बैंक खाते में ही आए। विपरीत हालातों में जैसे-तैसे पढ़ाई पूरा करने वाले विद्यार्थियों की डीएमसी, डिग्री एवं सर्टिफिकेट रुकने से उनका भविष्य खतरे में पड़ गया है। डिग्री के अभाव न तो वे किसी नौकरी के लिए आवेदन कर सकते हैं और न ही हायर स्टडीज कर सकते हैं। यही नहीं, मेडिकल कॉलेजों से पढ़े एससी विद्यार्थी तो आईएमए से रजिस्ट्रेशन, प्रेक्टिस के अलावा नौकरी हासिल करने से भी वंचित हो रहे हैं। खोज व मेडिकल शिक्षा पंजाब के डायरेक्टोरेट की ओर से 25 अप्रैल 2016 को भी विद्यार्थियों के असल सर्टिफिकेट, डिग्री एवं अन्य असल दस्तावेज न रोकने की हिदायत की जा चुकी है।

यूनिवर्सिटियों व कॉलेजों को 21 जनवरी से फिर से पूर्ण तौर पर खोलने के निर्देश:सेमेस्टर व सालाना परीक्षा ऑफलाइन होंगी, विद्यार्थियों को क्लास लगाने की छूट



बठिंडा। कोरोना संक्रमण के मामले कम होने के साथ ही उच्च शिक्षा विभाग ने प्रदेश के तमाम यूनिवर्सिटियों व कॉलेजों को 21 जनवरी से फिर से पूर्ण तौर पर खोलने के निर्देश दिए हैं। विशेष सचिव परमजीत सिंह की ओर से सोमवार को जारी पत्र में प्रदेश की तमाम 20 सरकारी व प्राइवेट यूनिवर्सिटियों को पत्र जारी करके सरकारी, एडेड व प्राइवेट कॉलेज खोलने के प्रति आगाह कर दिया है। शिक्षा विभाग की ओर से जारी हिदायतों के अनुसार शैक्षिक संस्थाओं की ओर से विद्यार्थियों के हित को ध्यान में रखते हुए ऑनलाइन व ऑनलाइन दोनों माध्यम के जरिए पढ़ाई करवाई जाए और सेमेस्टर, सालाना परीक्षा ऑफलाइन माध्यम से करवाई जाए।


विद्यार्थियों को अपनी मर्जी के अनुसार क्लास लगाने की छूट होगी तथा उन्हें क्लास लगाने संबंधी किसी प्रकार का दबाव नहीं बनाया जाएगा। इसके साथ ही यूनिवर्सिटियों व कॉलेजों को कोविड 19 की हिदायतों का पालन करते हुए हॉस्टल खोलने के निर्देश जारी किए गए हैं। हॉस्टल का कमरा प्रति विद्यार्थी अथवा कमरे के साइज के अनुसार जरूरी डिस्टेंसिंग का ध्यान रखते हुए अलॉट किए जाएं तथा अलॉटमेंट के समय फाइनल


ईयर के विद्यार्थियों को तरजीह दी जाए। शैक्षिक संस्थाओं में मैस, कैंटीन आदि सेहत विभाग की हिदायतों के मद्देनजर मुकम्मल सुरक्षा बरतते हुए जरूरत के अनुसार पूर्ण रूप में खोले जाएं। विद्यार्थियों की सुरक्षा के मद्देनजर यूनिवर्सिटियों व कॉलेजों की ओर से केंद्र सरकार, पंजाब सरकार की ओर सेसमय-समय पर जारी हिदायतों व उच्च शिक्षा विभाग की कोविड 19 के चलते यूनिवर्सिटियों, कॉलेज पुन: खोलने संबंधी जारी हिदायतों का तुरंत प्रभाव से पालन करना होगा।

इस्तीफा:जिला प्लानिंग बोर्ड चेयरमैन जगरूप गिल ने नियुक्ति के 5 माह बाद दिया इस्तीफा


बठिंडा। 
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता व जिला प्लानिंग बोर्ड के सदस्य जगरूप गिल ने अपनी नियुक्त के पांच माह से अधिक दिन बाद ही चेयरमैन पद से इस्तीफा दे दिया। सोमवार को जिला प्लानिंग बोर्ड आफिस में एक प्रेस कांफ्रेंस में इस्तीफे का एलान करते हुए गिल ने कहा कि वह इस समय नगर निगम चुनाव में हिस्सा लेने जा रहे हैं तथा लोकहितों के काम को उन्होंने हमेशा अहमियत दी है। इसलिए पार्टी के नियमानुसार वह चेयरमैन पद से इस्तीफा देने जा रहे हैं। जगरूप सिंह गिल ने कहा कि बतौर चेयरमैन ज्वाइन करते समय उन्होंने शहर से तीन वादे किए थे। इसमें पहला लाइनपार एरिया में एक नया सरकारी प्राइमरी स्कूल बनाने के अलावा नहर किनारे सैरगाह तथा लाइनपार एरिया में आलम बस्ती मोटर सिस्टम में सुधार कर जलभराव करना शामिल है जिन्हें वह पूरा करने को प्रतिबद्ध हैं।

गिल ने कहा कि लाइनपार एरिया में सीवरेज की समस्या का हल नहीं होने का कारण विपक्ष का निगम पर काबिज होना व मुद्दे पर गंभीरता से हल नहीं करना है। जगरूप गिल ने कहा कि लाइनपार एरिया में बने प्राइमरी स्कूल में वर्तमान में 700 के करीब विद्यार्थी पढ़ रहे हैं जबकि नए करीब 300 बच्चों को एडमिशन देने से इंकार कर दिया गया जिसके बाद उक्त एरिया में हाईटेक स्कूल की कमी खली। इस बात की चर्चा वित्तमंत्री मनप्रीत बादल से करने के बाद उन्होंने स्कूल के लिए जमीन लेने को स्वीकृति दी तथा हाल ही में गुरुकुल रोड के नजदीक 2.20 एकड़ जमीन के लिए 2.34 करोड़ का फंड मनप्रीत बादल ने तीन दिन की

फाइल कार्रवाई करवा पूरा करवाया जिससे अब इस जगह पर 21 कमरों का हाईटेक स्कूल बन सकेगा। उन्होंने कहा कि उनका दूसरा वादा आलम बस्ती की छोटी मोटर की जगह 200 केवीए की बड़ी मोटर के लिए फाइल सेक्रेटरी के पास अनुमोदन के लिए जा चुकी है। वहीं तीसरा वादा नहर किनारे सैरगाह बनाने का है जिसमें डीएफओ से एनओसी मिलने के बाद उक्त फाइल केंद्र सरकार को भेजी जा चुकी है जिसमें अगले दो माह में मंजूरी की उम्मीद है। वहीं उन्होंने कहा कि गुरुकुल रोड को मलोट रोड से मिलाने की प्रपोजल भी उन्होंने भेजी है।

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