बठिंडा. राज्य सरकार ने कोरोना महामारी के बीच ब्लैक फंगस के केस बढ़ने के बाद छह तरह की सर्जरी आयुष्मान भारत सर्वत सेहत बीमा योजना के तहत करने की अनुमति प्रदान की है। इस बाबत सभी सिविल सर्जनों को पत्र जारी कर प्राइवेट अस्पतालों में छह तरह की सर्जरी इस योजना के तहत बिना किसी देरी के शुरू करने के लिए कहा है। कोरोना पीड़ित व इससे ठीक हो चुके कई मरीजों में पिछले कुछ समय से ब्लक फंगस के मामले बढ़े हैं जिसमें मरीज की जान बचाने के लिए शरीर के विभिन्न हिस्सों में सर्जरी की जरूरत पड़ रही है।
पहले जारी हिदायतों में प्राइवेट अस्पताल कई तरह की सर्जरी को सेहत बीमा योजना में शामिल नहीं कर रहे थे। फिलहाल डिपार्टमेट आफ हेल्थ एंड फेमली वेलफेयर पंजाब की तरफ से पत्र संख्या 4826 तिथि 17 मई 2021 के हवाले से कहा गया है कि राज्य सरकार कोरोना महामारी के मद्देनजर हर जरूरी सेहत प्रबंध कर रही है। उसी कड़ी में कोविड के साथ कई अन्य बीमारियों से मरीजों को जूझना पड़ रहा है। इसके मद्देनजर केंद्र सरकार की हिदायतों के बाद राज्य सरकार ने आयुष्मान भारत सर्वत सेहत बीमा योजना में जरूरतमंद व गरीब लोगों को बिना किसी देरी के लाभ देने के लिए कदम उठाने का फैसला लिया है।
इसमें सरकार ने प्राइवेट अस्पतालों में छह तरह की सर्जरी शामिल की है जिसमें एपेंडीक्स सर्जरी दो प्रोसयूडर, गैलबलेडर सर्जरी चार प्रसयूडर, फीसर, फिस्टुला, पायलस सर्जरी चार प्रसयूडर, हर्निया सर्जरी 10 प्रसयूडर, ओर्थोपेडिक प्रैक्चर व सर्जरी 34 प्रसयूडर, गुलोकोमा सर्जरी फार आई एक प्रसयूडर को शामिल किया गया है। इसमें प्राइवेट अस्पतालों को कहा गया है कि वह बिना किसी रैफरल के उक्त योजना में मरीज का उपचार करेंगे व इससे पीड़ित किसी भी मरीज को उपचार के लिए इंकार नहीं कर सकेंगे। इस बाबत उक्त सभी सर्जरी के लिए सरकार की तरफ से तय रेट पर अस्पतालों को सरकार की तरफ से भुगतान किया जाएगा। यह आदेश कोविडके दौरान सरकार की तरफ से इस बाबत जारी होने वाले अगले आदेश तक जारी रहेगे व कोई भी अस्पताल इसमें अपने स्तर पर किसी तरह की तबदीली नहीं करेगा।
गौरतलब है कि पंजाब सरकार ने दो साल पहले राज्य में केंद्र सरकार की आयुष्मान भारत सेहत बीमा योजना में अपना शेयर कर इसे सर्वत बीमा योजना के नाम पर राज्य में लागू किया था। पिछले डेढ़ साल से बढ़े कोरोना के प्रकोप के दौरान अधिकतर अस्पतालों ने कोविड मरीजों का इस योजना में उपचार करने से इंकार कर दिया था व उक्त कार्ड धारकों से बिलों की वसूली हो रही थी। यहां बताना जरूरी है कि आयुष्मान भारत सरबत सेहत बीमा योजना का लाभ मरीजों को सीधे निजी अस्पतालों में नहीं मिल रहा था।
इसके लिए पहले उन्हें सरकारी अस्पताल में दाखिल होना पड़ रहा था। वहां से रेफर होने पर ही मरीज प्राइवेट अस्पताल में जाते थे। केवल इमरजेंसी की स्थिति में सीधे भर्ती किया जा सकता था। यहां भी निजी अस्पताल को पहले सरकार के सरकारी पोर्टल पर मरीज की केस हिस्ट्री फोटो समेत अपलोड करनी होती थी। सरकार से अप्रूवल मिलने के बाद ही निजी अस्पताल मरीज का आगे इलाज करेगा। जिले में योजना के तहत 13 सरकारी अस्पतालों के साथ-साथ 19 प्राइवेट अस्पतालों को भी शामिल किया है। सरबत सेहत बीमा योजना में अस्पतालों के लिए अलग-अलग पैकेज हैं। कुल 1396 पैकेज इलाज के तहत हैं, लेकिन इनमें से 124 गवर्नमेंट रिजर्व हैं। पंजाब सरकार की ओर से 20 अगस्त से उक्त योजना को लागू किया गया है। योजना के तहत 2 लाख 30 हजार 234 परिवार शामिल किए गए हैं।
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