Tuesday, March 23, 2021

बठिंडा में करोड़ों रुपयों की वसूली के लिए लोगों की कटेगी जेब, पड़ेगा पिछले बकाये का भी बोझ - होनी है 15 करोड़ रुपए से ज्यादा की वसूली, इकट्ठा हुये सिर्फ 44.27 लाख रूपए

 


-डोर-टू-डोर कचरा कलेक्शन के यूजर चार्ज को लेकर आर.टी.आई. में मिली सूचना

 बठिंडा. बठिंडा नगर निगम के अधीन आने वाले लोगों की जेब पर अतिरिक्त बोझ पड़ने जा रहा है नगर निगम की तरफ से डोर-टू-डोर कचरा कलेक्शन का काम किया जा रहा है इसमें यूजर चार्ज के तौर पर अधिक्तर लोगों से पिछले दो साल से फीस वसूल नहीं की जा सकी है। इस बाबत अब नगर निगम करीब 12 करोड़ से अधिक राशि की वसूली के लिए मुहिम शुरू करने जा रहा है। इसमें निगम की माने तो राशि बढ़कर 15 करोड़ तक पहुंच सकती है क्योंकि नगर निगम ने अभी तक मात्र 44.27 लाख रुपए की ही वसूली की है जबकि निगम क्षेत्र में स्थित घर, दुकान व बड़े संस्थानों के हिसाब से राशि 15 करोड़ से अधिक की बनती है। निगम से आर.टी.आई. में मिली सूचना के अनुसार 01 फरबरी 2019 से 18 फरबरी 2021 तक निगम के पास डोर-टू-डोर कचरा कलेक्शन के यूजर चार्ज सिर्फ 44.27 लाख रूपये इकट्ठा हु हैं


पिछले 2 सालों से निगम ने बठिंडा के घरेलू यूनिटों, कमर्शियल यूनिटों, हस्पतालों, स्कूलों, मिठाई की दुकानों (ए.सी., नॉन ए.सी.), ढाबों (ए.सी., नॉन ए.सी.), मैरिज पैलेसों, होटलों, शिक्षण संस्थानों, पेइंग गेस्टों, यूनिवर्सिटीयों, प्राइवेट कॉलेजों, पेट्रोल पंप, बैंकों और वित्तीय संस्थानों, फैक्टरियों, मल्टीकाप्लेक्सों, सिनेमों, रेहड़ियों, खोखों, सर्विस स्टेशनों, शॉपिंग मालों, व अन्य दुकानों से नियमित रूप से डोर-टू-डोर कचरा कलेक्शन के यूजर चार्ज की वसूली नहीं की है जिसके कारण अब लोगों को पिछले सालों की बकाया रकम अदा करने का बोझ पड़ेगा

जानकारी अनुसार शहर में लगभग 65000 घरेलू यूनिटों के 30/- रूपये प्रति यूनिट के हिसाब से वसूले जाते हैं तो एक महीने का 1950000/-रूपये प्रति महीना बनता है।वही लगभग 16000 कमर्शियल यूनिटों के 100/- रूपये प्रति यूनिट के हिसाब से एक महीने का सोलह लाख रूप प्रति महीना बनता है। घरेलू यूनिटों और कमर्शियल यूनिटों का मिला कर प्रति महीना 3550000/- और पिछले 2 सालों में रकम आठ करोड़ 52 लाख रूपये बनती है। इसमें हस्पतालों, स्कूलों, मिठाई की दुकानों (ए.सी., नॉन ए.सी.), ढाबों (ए.सी., नॉन ए.सी.), मैरिज पैलेसों, होटलों, शिक्षण संस्थानों, पेइंग गेस्टों, यूनिवर्सिटीयों, प्राइवेट कॉलेजों , पेट्रोल पम्पों, बैंकों और वित्तीय संस्थानों,फैक्टरियों, मल्टीप्लेक्सों, सिनेमों, रेहड़ियों, खोखों, सर्विस स्टेशनों, शॉपिंग मालों, अन्या शिक्षणिक संस्थानों, शराब की दुकानों आदि जो हैं वो अलग से है।   निगम से जब डोर-टू-डोर कचरा कलेक्शन के यूजर चार्ज की वसूली ग रकम के संबंध में आर.टी.आई. के माध्यमं से डिटेल मांगी जाती है तो निगम की हेल्थ शाखा के जन सूचना अफसर के द्वारा जिस रूप में सूचना मांगी ग है उस रूप में उपलब्ध नहीं है लिखकर दे दिया जाता है। निगम द्वारा समय-समय पर डोर-टू-डोर कचरा कलेक्शन के यूजर चार्ज की वसूली नहीं करने का खामियाजा अब लोगों को भुगतना पड़ेगा।

डोर-टू-डोर कचरा कलेक्शन के जो यूजर चार्जेज हैं निगम हाउस की तरफ से पारित किए जाते हैं। यह चार्ज इस प्रकार से हैं।   

  • -घरेलू यूनिट 1 वर्ग गज से 60 वर्ग गज तक के घरों से  20/- रूपये प्रति महीना
  • -61 वर्ग गज से 180 वर्ग गज तक के घरों से 30/- रूपये प्रति महीना
  • -181 वर्ग गज से ज्यादा के घरों से 50/- रूपये प्रति महीना
  • -दुकान 100 वर्ग फुट तक से 50/- रूपये प्रति महीना
  • -दुकान 101 से 200 वर्ग फुट तक से 100/- रूपये प्रति महीना
  • -दुकान 201 से 300 वर्ग फुट तक से 150/- रूपये प्रति महीना
  • -दुकान 301 से 500 वर्ग फुट तक से 200/- रूपये प्रति महीना
  • -दुकान 501 से 1000 वर्ग फुट तक से 250/- रूपये प्रति महीना
  • -दुकान 1000 वर्ग फुट से ऊपर से 500/- रूपये प्रति महीना
  • -पेट्रोल पम्प से 500/- रूपये प्रति महीना
  • -बैंकों और वित्तीय संस्थान से 1000/- रूपये प्रति महीना
  • -मिठाई की दुकान (ए.सी.) से 1000/- रूपये प्रति महीना
  • -मिठाई की दुकान (नॉन ए.सी.) से 500/- रूपये प्रति महीना
  • -ढाबा (ए.सी.) से 1000/- रूपये प्रति महीना
  • -ढाबा (नॉन ए.सी.) से 500/- रूपये प्रति महीना
  • -पेइंग गेस्ट से 30/- रूपये प्रति महीना (प्रति कमरा)
  • -यूनिवर्सिटी से 5000/- रूपये प्रति महीना
  • -होटल 10 कमरों तक से 500/- रूपये प्रति महीना
  • -होटल 11 से 20 कमरों तक से 1000/- रूपये प्रति महीना
  • -होटल 21 से ज्यादा कमरों वालों से 2000/- रूपये प्रति महीना
  • -बैंक्वेट हाल और रेस्टोरेंट से 1500/- रूपये प्रति महीना
  • -हस्पताल (सिर्फ नान मेडिकल वेस्ट) 15 बेड तक से 1000/- रूपये प्रति महीना
  • -हस्पताल (सिर्फ नान मेडिकल वेस्ट) 16 से 30 बेड तक से 2000/- रूपये प्रति महीना
  • -हस्पताल (सिर्फ नान मेडिकल वेस्ट) 30 से 50 बेड तक से 5000/- रूपये प्रति महीना
  • -हस्पताल (सिर्फ नान मेडिकल वेस्ट) 50 बेड से ज़्यादा से 10000/- रूपये प्रति महीना
  • -प्राइवेट स्कूल 1/- रुपया प्रति बच्चा प्रति महीना
  • -फैक्ट्री से 50 पैसे प्रति वर्ग गज प्रति महीना
  • -शॉपिंग माल 200/- रूपये प्रति महीना (प्रति दुकान)
  • -मल्टीप्लेक्स/सिनेमा 1000/- रूपये प्रति महीना (प्रति स्क्रीन)
  • -रेहड़ी/खोखा 30/- रूपये प्रति महीना
  • -सर्विस स्टेशन से 150/- रूपये प्रति महीना
  • -मैरिज पैलेस 500 वर्ग गज तक से 1000/- रूपये प्रति महीना
  • -मैरिज पैलेस 501 से 1000 वर्ग गज तक से 2000/- रूपये प्रति महीना
  • -मैरिज पैलेस 1001 वर्ग गज से ज्यादा से 3000/- रूपये प्रति महीना
  • -प्राइवेट कॉलेज से 1000/- रूपये प्रति महीना
  • -अन्या शिक्षणिक संस्थानों से 1000/- रूपये प्रति महीना
  • -शराब की दुकानों से 300/- रूपये प्रति महीना

इस संबंध में संजीव गोयल, आर.टी.आई. एक्टिविस्ट सचिव ग्राहक जागो का कहना है कि कोई भी डोर-टू-डोर कचरा कलेक्शन के यूजर चार्ज जो नगर निगम बठिंडा द्वारा पारित किये हुये हैं उन रेटों से ज्यादा रेट न दें अगर कोई तय रेट से ज्यादा की मांग करता है तो तुंरत उसकी शिकायत करें और जो भी रकम/राशि दी जाती है उसकी रसीद अवश्य लें।


 

सरकारी स्कूलों को स्मार्ट स्कूल में तब्दील करने के लिए शुरू किया गया अभियान अध्यापकों को लिए बना सिरदर्द


-एलइडी प्रोजेक्ट के तहत हर स्कूल को 11 हजार रुपये में 48 इंच की एलईडी खरीदने के आदेश

बठिडा. शिक्षा विभाग की तरफ से सरकारी स्कूलों को स्मार्ट स्कूल में तब्दील करने के लिए शुरू किया गया अभियान अध्यापकों को लिए सिरदर्द बनता जा रहा है। कभी दानी सज्जनों के सहयोग से स्कूल में सुविधाओं का प्रबंध करना, तो कभी अपने स्तर पर स्कूल की समस्याओं को दूर करना है। अब शिक्षा विभाग ने एक नया फरमान जारी कर दिया है, जिसमें सरकार ने एलइडी प्रोजेक्ट के तहत हर स्कूल को 11 हजार रुपये में 48 इंच की एलईडी खरीदने के आदेश दिए हैं। इसके लिए जिले 276 सरकारी हाई सीनियर सेकेंडरी स्कूलों को 30,36,398 और प्राइमरी स्कूलों को 54,78,000 रुपये का फंड भी जारी किया जा चुका है, लेकिन टीचर परेशान हैं कि 11 हजार रुपये में सरकार के तय मापदंडों पर एलईडी कैसे खरीदें।

अध्यापकों को कहना है कि 11 हजार रुपये में 48 इंच की एलईडी नहीं आती। यहां तक कि 11 हजार रुपये में 40 से 45 इंच की एलईडी भी नहीं आती। इसके मद्देनजर शिक्षा विभाग में अध्यापकों में रोष देखने को मिल रहा है। अध्यापकों द्वारा इस संबंध में शिक्षा विभाग को लिख कर भेज दिया गया है कि 11 हजार में हम एलईडी नहीं खरीद सकते, जबकि शिक्षा विभाग के एक पत्र के मुताबिक सरकारी स्कूल केवल 11 हजार की राशि में 48 इंच की स्मार्ट एलईडी खरीदेंगे। इसकी खरीद संबंधी तय किए गए मापदंड का सख्ती से पालन करने की हिदायत भी की गई है, जबकि सच यह है कि निर्धारित बात पर खरी उतरने वाली एलईडी इस राशि में मिलनी संभव ही नहीं है। साथ ही कहा गया है कि मापदंड के मुताबिक एलईडी नहीं मिलती है तो स्कूल अपने स्तर पर इसका प्रबंध करें। इस कारण अध्यापकों व स्कूल मैनेजमेंट कमेटी के लिए यह मानसिक परेशानी बनती जा रही है। शिक्षा विभाग आधी अधुरी ग्रांट जारी कर इसका भार स्कूल मैनेजमेंट कमेटी व अध्यापकों पर डाल रहा है। पहले ही खुद के खर्च से स्कूल चला रहे अध्यापक

डेमोक्रेटिक टीचर्स फ्रंट के प्रधान रेशम सिंह ने कहा कि शिक्षा विभाग द्वारा स्मार्ट स्कूल बनाने की पालिसी अध्यापकों को थोपी जा रही है। स्मार्ट स्कूल प्रोजेक्ट चलाया तो जा रहा है, लेकिन इसके साथ ही जो फंड जारी किया जाता है, उसमें पंजाब सरकार सिर्फ 40 प्रतिशत ही डालती है। बाकि का 60 प्रतिशत स्कूलों में अध्यापकों द्वारा डाला जाता है। इस बार फिर शिक्षा विभाग ने एलईडी प्रोजेक्ट के तहत 11 हजार रुपये जारी तो कर दिए, लेकिन सरकारी स्कूलों में बाकी के पैसे अध्यापकों को भरने पड़ेंगे। पहले ही सरकारी स्कूलों को अध्यापक खुद के खर्चे से चला रहे हैं। इसके अलावा बिजली के बिल भी कई स्कूलों में अध्यापक ही भर रहे हैं। अब शिक्षा विभाग स्मार्ट स्कूल का पूरा भार अध्यापकों को थौंप रही है।

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यह ग्रांट सरकार द्वारा दी गई है। अगर कुछ शिक्षक यह एलईडी नहीं खरीद सकते, तो वह पैसे वापस दे सकते हैं। यह शिक्षा विभाग का फैसला है। ग्रांट भी शिक्षा विभाग द्वारा जारी की गई है। हर स्कूल को 11 हजार रुपये में ही एलइडी खरीदनी पड़ेगी। अगर फिर भी मुश्किल हैं, तो वह दानी सज्जनों के सहयोग से कार्य कर सकते हैं।

- इकबाल सिंह बुट्टर, उपजिला शिक्षा अधिकारी

सीए की परीक्षा में बठिडा के व्यवसायी संदीप गोयल और पहली बार पार्षद बनीं रमन गोयल के बेटे आशीष गोयल को राष्ट्रीय स्तर पर छठा रैंक

 


बठिडा: हिम्मत और लगन के साथ की गई मेहनत से कोई भी इंसान अपना मुकाम हासिल कर सकता है। बठिडा के व्यवसायी संदीप गोयल और पहली बार पार्षद बनीं रमन गोयल के बेटे आशीष गोयल ने अपनी मेहनत के बलबूते पर ऐसा ही कर दिखाया है। बीते जनवरी में इंस्टीट्यूट आफ चार्टर्ड अकाउंटेंट्स की ओर से ली गई परीक्षा में आशीष गोयल ने राष्ट्रीय स्तर पर छठा रैंक हासिल किया है। इस परीक्षा का परिणाम बीते रविवार को घोषित हुआ है। उन्होंने कुल 800 अंकों में से 568 अंक हासिल किए। आशीष अपनी इस सफलता का श्रेय अपनी परिश्रम के अलावा अपने दादा-दादी, माता-पिता और ताऊ-ताई के आशीर्वाद को देते हैं। आशीष ने बताया कि इससे पहले हुए सीए के इंटर टेस्ट में उन्होंने राष्ट्रीय स्तर पर पांचवां रैंक हासिल किया था। एलकेजी से लेकर प्लस टू तक टापर आशीष के पिता संदीप गोयल व माता रमन गोयल ने बताया कि आशीष अपनी एलकेजी की पढ़ाई से लेकर प्लस टू तक की हर क्लास में हमेशा टापर ही रहा है। उसने स्थानीय सेंट जेवियर सीनियर सेकेंडरी स्कूल से एलकेजी से प्लस टू की शिक्षा हासिल की है। प्लस टू कामर्स में उसने 97.5 फीसद अंक लेकर जिले में पहला स्थान हासिल किया था। इसके बाद उसने नई दिल्ली के श्रीराम कालेज आफ कामर्स से बीकाम शिक्षा हासिल की। इस उपरांत उसने गुरुग्राम स्थित ईवाई कंपनी में तीन वर्षीय सीए की ट्रेनिग शुरू की, जो अभी चल रही है। वह अपने बेटे की इस सफलता से बेहद खुश हैं। उन्हें बेटे पर गर्व है।

अब यूपीएसई की तैयारी में जुटेंगे आशीष

आशीष गोयल ने बताया, हालांकि मेरा शुरू से सपना चार्टर्ड अकाउंटेंट बनना ही रहा है, लेकिन इसके बावजूद मै यूपीएसई की भी तैयारी करूंगा। मेरी सीए की ट्रेनिग खत्म होने के साथ ही मै यूपीएसई की तैयारी में जुट जाऊंगा। मुझे पूरी उम्मीद थी कि चार्टर्ड अकाउंटेंट की परीक्षा में मेरा अच्छा रैंक आएगा।

 

बठिंडा की मौड़ मंडी में भाकियू ने एक्सईएन दफ्तर के समक्ष धरना लगाकर पावरकाम अधिकारियों का घेराव किया।


मौड़ मंडी:
पंजाब स्टेट पावर कारपोरेशन डिवीजन मौड़ के अधिकारियों की ओर से की जा रही मनमानियों के विरोध में भारतीय किसान यूनियन सिद्धूपुर ने सोमवार को मौड़ में एक्सईएन दफ्तर के समक्ष धरना लगाकर पावरकाम अधिकारियों का घेराव किया।

जिला सीनियर उपप्रधान योद्धा सिंह नगला, तलवंडी साबो के ब्लाक प्रधान महमा सिंह, रेशम सिंह यात्री, अमरजीत सिंह सिद्धू आदि ने कहा कि वह बार-बार खेती मोटरों की सप्लाई तथा घरेलू खपतकारों की समस्याओं संबंधी अधिकारियों को अवगत करवा चुके हैं, परंतु किसानों की समस्याओं का कोई हल नहीं किया जा रहा। पावरकाम अधिकारियों ने अगर किसानों की समस्याओं का हल नहीं किया तो संगठन की तरफ से संघर्ष को और तेज किया जाएगा। किसान नेताओं ने एपी सप्लाई रोजाना 10 घंटे देने, हाड़ी की फसल की कटाई के दौरान एक अप्रैल से बंद की जा रही बिजली सप्लाई को नरमा क्षेत्र में अगली फसल की बिजाई तक चालू रखा रखने आदि की मांग की। यहां देवेंद्र सिंह सरां, मुख्त्यार सिंह कुब्बे, बलविदर सिंह जोधपुर पाखरं, तरसेम सिंह यात्री आदि भी मौजूद थे। 

शराब, लाहन व प्रतिबंधित गोलियों के साथ तीन गिरफ्तार 

मौड़। जिला पुलिस ने लाहन, शराब व प्रतिबंधित गोलियों के साथ तीन लोगों को गिरफ्तार किया है। थाना मौड़ पुलिस के हवलदार राम सिंह के मुताबिक उन्हें सूचना मिली कि गांव घुम्मन कलां निवासी बलविदर सिंह शराब तस्कारी का काम करता है। सूचना के आधार पर छापामारी कर आरोपित को 40 लीटर लाहन समेत गिरफ्तार कर लिया। वहीं थाना संगत के एएसआइ गुरमेज सिंह ने भी गुप्त सूचना के आधार पर गांव गहरी बुट्टर निवासी राम सिंह को 18 बोतल शराब व 20 बोतल बीयर समेत गिरफ्तार किया। इसके अलावा थाना नंदगढ़ के एएसआइ जसविदर सिंह ने गश्त के दौरान गांव घुद्दा से गांव नहियांवाला निवासी राजिदर सिंह को 7500 नशीली गोलियों समेत गिरफ्तार किया है।

Monday, March 22, 2021

"सबाबी मंगल को एल्फस राज्य सरकार विश्वविद्यालय, दिल्ली द्वारा संज्ञानात्मक विज्ञान में मानद डॉक्टरेट से सम्मानित किया गया


बठिंडा .
सबाबी मंगल को एल्फस राज्य सरकार विश्वविद्यालय, दिल्ली द्वारा संज्ञानात्मक विज्ञान में मानद डॉक्टरेट से सम्मानित किया गया है। “सबाबी मंगल ने 2007 में संज्ञानात्मक और मस्तिष्क विज्ञान के क्षेत्र में अपना करियर शुरू किया। उन्होंने अपने जीवन के 13 साल संज्ञानात्मक विज्ञान में अनुसंधान और विकास करने में बिताए। 

उस अवधि के दौरान उन्होंने दुनिया के सबसे लंबे असीमित वर्षों के कैलेंडर का आविष्कार किया और मस्तिष्क विज्ञान पर 12 पुस्तकें प्रकाशित कीं। उन्होंने 3 विश्व रिकॉर्ड हासिल किए और उनके 12 छात्रों ने हमारे बठिंडा जिले से सबसे मजबूत स्मृति और सबसे तेज़ गणनाओं में विश्व रिकॉर्ड हासिल किया। उन्होंने जुलाई 2020 में संज्ञानात्मक और मस्तिष्क विज्ञान अनुसंधान पर थीसिस प्रस्तुत की और आखिरकार 18 मार्च 2021 को भारत के संविधान क्लब में संज्ञानात्मक विज्ञान में डॉक्टरेट (पीएचडी) हासिल की।

मानद पीएच.डी. उपाधि को सब-चांसलर डॉ अंजू भंडारी और एआईआईपीपीएचएस राज्य सरकार विश्वविद्यालय, दिल्ली के रजिस्ट्रार डॉ कपिल देव आर्य द्वारा सम्मानित किया गया। माननीय मुख्य अतिथि श्री। मनोज तिवारी, संसद सदस्य और कई आईएएस अधिकारी और न्यायिक अधिकारी सहित विशिष्ट अतिथि। इस आयोजन में डॉ. सबाबी मंगल (पीएचडी, संज्ञानात्मक विज्ञान),कॉग्निटिव रिसर्च साइंटिस्ट, इंटरनेशनल ब्रेन रिसर्च इंस्टीट्यूट, सियोल, दक्षिण कोरिया शामिल हुए।

मरीज के लिए शैंकी शर्मा ने किया इमरजेंसी खूनदान


बठिंडा। परस राम नगर निवासी शैंकी शर्मा ने एक निजी अस्पताल में दाखिल मरीज के लिए इमरजेंसी खूनदान किया। खूनदानी बीरबल बांसल ने बताया कि शहर के एक निजी अस्पताल में दाखिल मरीज को इमरजेंसी खून की जरूरत पड़ने पर शैंकी शर्मा ने तुरंत मौके पर पहुंचकर खूनदान किया। खूनदान करने पर शैंकी शर्मा को ब्लड बैंक की ओर से प्रशंसा पत्र देकर सम्मानित किया गया। बीरबल बांसल ने कहा कि प्रत्येक को खूनदान करने के लिए आगे आना चाहिए।

ਬਠਿੰਡਾ/ 'ਮਿਸ਼ਨ ਫ਼ਤਿਹ'-9805 ਕਰੋਨਾ ਪੀੜਤ ਸਿਹਤਯਾਬ ਹੋ ਕੇ ਪਹੁੰਚੇ ਘਰ-ਡਿਪਟੀ ਕਮਿਸ਼ਨਰ


ਬਠਿੰਡਾ:
ਜ਼ਿਲੇ ਅੰਦਰ ਕੋਵਿਡ 19 ਤਹਿਤ ਕੁੱਲ 162002 ਸੈਂਪਲ ਲਏ ਗਏ। ਜਿਨਾਂ ਵਿਚੋਂ 10428 ਪਾਜੀਟਿਵ ਕੇਸ ਆਏ, ਇਨਾਂ ਵਿੱਚੋਂ 9805 ਕਰੋਨਾ ਪੀੜਤ ਸਿਹਤਯਾਬ ਹੋ ਕੇ ਆਪੋ-ਆਪਣੇ ਘਰ ਵਾਪਸ ਪਰਤ ਗਏ,ਇਸ ਸਮੇਂ ਜ਼ਿਲੇ ਵਿੱਚ ਕੁੱਲ 386 ਕੇਸ ਐਕਟਿਵ ਹਨ ਤੇ ਹੁਣ ਤੱਕ 237 ਕਰੋਨਾ ਪ੍ਰਭਾਵਿਤ ਵਿਅਕਤੀਆਂ ਦੀ ਮੌਤ ਹੋ ਚੁੱਕੀ ਹੈ। ਇਹ ਜਾਣਕਾਰੀ ਡਿਪਟੀ ਕਮਿਸ਼ਨਰ ਸ੍ਰੀ ਬੀ.ਸ੍ਰੀਨਿਵਾਸਨ ਨੇ ਸਾਂਝੀ ਕੀਤੀ। 
ਇਸ ਸਬੰਧੀ ਹੋਰ ਜਾਣਕਾਰੀ ਦਿੰਦਿਆਂ ਸ਼੍ਰੀ ਬੀ.ਸ੍ਰੀਨਿਵਾਸਨ ਨੇ ਦੱਸਿਆ ਕਿ ਜ਼ਿਲੇ ਵਿੱਚ ਬੀਤੇ 24 ਘੰਟਿਆਂ ਦੌਰਾਨ 33 ਕਰੋਨਾ ਪ੍ਰਭਾਵਿਤ ਮਰੀਜ਼ ਠੀਕ ਹੋਣ ਉਪਰੰਤ ਆਪਣੇ ਘਰ ਵਾਪਸ ਪਰਤ ਗਏ ਹਨ।

बठिंडा में चाइल्ड लाइन 1098 के बारे में ऑटो यूनियन को किया जागरूक, कहा-कभी भी चाइल्ड लाइन के टोल फ्री नंबर 1098 पर फ़ोन करके बच्चों के लिए मदद ले सकते है


बठिंडा।
 चाइल्ड लाइन 1098 बठिंडा की जिला कॉर्डिनेटर ने जानकारी देते हुए बताया कि महिला एवं बाल विकास मंत्रालय के सहयोग से चल रही नेचुराल्स केअर चाइल्ड लाइन 1098 बठिंडा की टीम द्वारा बस स्टैंड बठिंडा के सामने ऑटो यूनियन वालों को चाइल्ड लाइन 1098 द्वारा चल रहे कार्य से अवगत करवाया गया। उनको बताया गया कि अगर आपको कोई गुमसुदा बच्चा लावारिश बच्चा, या कोई बच्चा घर से भाग जाता है अगर किसी बच्चों के माता पिता नही है, या कोई ऐसा बच्चा जिनको सुरक्षा एवं देखभाल की जरूरत है उन बच्चों की मदद के लिए कोई भी बच्चा या कोई अन्य व्यक्ति कभी भी चाइल्ड लाइन के टोल फ्री नंबर 1098 पर फ़ोन करके बच्चों के लिए मदद ले सकते है।

इस नंबर पर फ़ोन करने वाले व्यक्ति की सूचना गुप्त रखी जाती है। ये नंबर पूरे भारत मे 356 दिन व दिन रात चलने वाली एक टोल फ्री सेवा है। काउंसेलर चंद्र प्रकाश द्वारा लोगों से अपील की गई अगर आप अपने आस पास किसी भी बच्चे के साथ किसी भी तरह का शोषण होते देखते है तो कृप्या उनकी मदद के लिए 1098 पर फोन करें और अगर कोई व्यक्ति चाइल्ड लाइन बठिंडा की टीम के साथ वॉलेंटर के तौर पर जुड़ना चाहता है तो भी वय 1098 या दफ्तर के नंबर 0164-5013098 पर फ़ोन कर सकता है।ऑटो यूनियन द्वारा सभी वर्क्स ने कहां की हम आपको जरूत बताएंगे अगर हमें कोई बच्चा मुसीबत में मिलेगा।इस मौके पर चाइल्ड लाइन की कॉर्डिनेटर सुमनदीप, काउंसलर चंद्र प्रकाश, टीम मेंबर सुखवीर कौर उपस्थित थे।

पूर्व विधायक ने रेल मंत्री को पत्र लिखा, बीकानेर ट्रेन के संचालन की मांग, कैंसर के मरीजों को राहत देने के लिए रेल मंत्री चलवाएं बठिंडा-बीकानेर ट्रेन: सरूप सिंगला

 

बठिंडाशिरोमणि अकाली दल के पूर्व विधायक सरूप चंद सिंगला ने रेल मंत्री पीयूष गोयल को पत्र लिखकर अबोहर से जोधपुर के लिए बठिंडा रेलवे स्टेशन से बीकानेर तक ट्रेन संख्या  14722  चलाने की मांग की है।  एक प्रेस बयान जारी करते हुए, पूर्व विधायक सरूप चंद सिंगला ने कहा कि मालवा क्षेत्र कैंसर से पीड़ित था और अधिकांश मरीज इलाज के लिए बीकानेर जाते हैं, लेकिन कोरोना महामारी के कारण यह ट्रेन लंबे समय से बंद थी। अब मरीज इस वाहन को चलाने की मांग कर रहे हैं।  पूर्व विधायक सरूप चंद सिंगला ने भी रेल मंत्री से अपील की है कि वे एशिया के सबसे बड़े रेलवे जंक्शन बठिंडा का दौरा करें और वहां के बेरोजगार युवाओं को रोजगार काउंटर भी उपलब्ध कराएं ताकि युवा विभिन्न व्यवसायों को शुरू कर सकें।  उन्होंने रेलवे स्टेशन पर अन्य ट्रेनें चलाने की भी मांग की।  पूर्व विधायक ने रेल मंत्री को पत्र की एक प्रति पूर्व केंद्रीय मंत्री हरसिमरत कौर बादल को भी भेजी और मांग की कि इस मुद्दे को भारत सरकार के समक्ष उठाया जाए और कैंसर रोगियों को राहत देने के लिए एक ट्रेन चलाई जाए। गौरतलब है कि कोविड-19 के चलते बठिंडा से बिकानेर तक जाने वाली उक्त ट्रेन को बंद कर रखा है जबकि इस ट्रेन में अधिकतर ऐेसे लोग सफर करते हैं जिन्हें राजस्थान के बिकानेर में कैंसर संबंधी सस्ता उपचार करवाना होता है। वर्तमान में ट्रेन नहीं चलने के कारण लोगों को या तो बठिंडा के प्राइवेट अस्पतालों में महंगा उपचार करवाना पड़ रहा है या फिर टैक्सी करवाकर बिकानेर जाना पड़ रहा है जिससे आर्थिक तौर पर कमजोर परिवारों को काफी दिक्कत का सामना करना पड़ता है। 

ਬਠਿੰਡਾ ਚ ਜ਼ਿਲਾ ਪੱਧਰੀ ਪੈਨਸ਼ਨ ਅਦਾਲਤ 24 ਮਾਰਚ ਨੂੰ ਸਵੇਰੇ 10 ਵਜੇ ਲਗਾਈ ਜਾ ਰਹੀ: ਡਿਪਟੀ ਕਮਿਸ਼ਨਰ


ਬਠਿੰਡਾ: ਜ਼ਿਲਾ ਪੱਧਰੀ ਪੈਨਸ਼ਨ ਅਦਾਲਤ ਜ਼ਿਲਾ ਪ੍ਰਬੰਧਕੀ ਕੰਪਲੈਕਸ ਬਠਿੰਡਾ ਕਮਰਾ ਨੰ. 282 ਵਿਖੇ 24 ਮਾਰਚ 2021 ਨੂੰ ਸਵੇਰੇ 10 ਵਜੇ ਲਗਾਈ ਜਾ ਰਹੀ ਹੈ, ਜਿਸ ਵਿੱਚ ਪੈਨਸ਼ਨਰਾਂ ਦੀਆਂ ਸ਼ਿਕਾਇਤਾਂ ਸਬੰਧੀ ਸੁਣਵਾਈ ਕੀਤੀ ਜਾਵੇਗੀ। ਇਹ ਜਾਣਕਾਰੀ ਦਿੰਦੇ ਹੋਏ ਡਿਪਟੀ ਕਮਿਸ਼ਨਰ ਸ੍ਰੀ ਬੀ.ਸ੍ਰੀਨਿਵਾਸਨ ਨੇ ਦੱਸਿਆ ਕਿ ਇਸ ਪੈਨਸ਼ਨ ਅਦਾਲਤ ਵਿੱਚ ਪੰਜਾਬ ਸਰਕਾਰ ਦੀ ਨੌਕਰੀ ਤੋਂ ਸੇਵਾਮੁਕਤ ਪੈਨਸ਼ਨਰਾਂ ਦੀਆਂ ਮੁਸ਼ਕਲਾਂ/ਸ਼ਿਕਾਇਤਾਂ ਦੇ ਨਿਬੇੜੇ ਲਈ ਸਹਾਇਕ ਕਮਿਸ਼ਨਰ (ਸ਼ਿਕਾਇਤਾਂ) ਵੱਲੋਂ ਪੈਨਸ਼ਨ ਅਦਾਲਤ ਲਗਾਈ ਜਾਵੇਗੀ। 

बठिंडा में कोरोनाकाल में सराहनीय सेवाएं देने पर डा. शिवानी बांसल को सीएमओ ने दिया प्रशंसा पत्र

 


बठिंडा। कोरोनाकाल में सराहनीय सेवाएं देने के बदले में सिविल सर्जन डा. तेजवंत सिंह ढिल्लो की ओर से डा. शिवानी बांसल को प्रशंसा पत्र देकर सम्मानित किया गया है। उन्होंने डा. शिवानी बांसल को भविष्य मंे भी इसी तरह अपनी सेवाएं देने के लिए शुभकामनाएं भी दीं। बता दें कि कोरोनाकाल के दौरान डा.शिवानी बांसल ने आइसोलेशन सेंटर बनाए गए महाराजा रंजीत सिंह यूनिवर्सिटी, मेरिटोरियस स्कूल व सरकारी अस्पताल में लगातार मेडिकल सेवाएं दीं। यहीं नहीं लगातार सेवाएं प्रदान करने पर खुद डा. शिवानी बांसल कोरोना की चपेट में आ गई थीं लेकिन उसके बाद भी स्वस्थ होने के बाद फिर से अपनी सेवाएं जारी रखीं। इन सेवाओं के बदले उनको सिविल सर्जन डा. तेजवंत सिंह ढिल्लो, सहायक सिविल सर्जन डा. अनुपमा शर्मा व डा. नरेश ने प्रशंसा पत्र देकर सम्मानित किया। इस मौके पर डा. शिवानी बांसल ने सिविल सर्जन डा. तेजवंत सिंह ढिल्लो समेत समूह अधिकारियों को विश्वास दिलाया कि भविष्य में भी वो इसी तरह अपनी सेवाएं जारी रखेंगी।


कोरोना लाकडाउन से लेकर आज तक जिले में मिल चुके 10 हजार 367 पोजटिव केस ,पिछले 21 दिनों में ही 593 नए पोजटिव केस मिलने से बढ़ी फिर से चिंता

 


बठिंडा.ठीक एक साल पहले 22 मार्च को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोरोना को कंट्रोल करने को जनता कर्फ्यू लगाने का आह्वान किया था। पंजाब में 23 मार्च को दोपहर 2 बजे कर्फ्यू लगा दिया गया तथा इसके बाद सड़कों पर पसरा सन्नाटा व चेहरों पर फैला डर कोई भी भूला नहीं होगा। बठिंडा में 29 अप्रैल, 2020 को पहली बार दो कोरोना केस मिले थे जो अब 21 मार्च 2021 तक बढ़कर पूरे जिले में 10367 हो चुके हैं यानी पिछले 10 माह में रोजाना करीब 34 लोग संक्रमित हुए हैं जबकि 236 की मौत हो चुकी है। वहीं पुन: मार्च माह के पहले 21 दिनों में ही 593 मरीज मिले हैं यानी की पुन: 28 केस रोजाना सामने आ रहे हैं जो भी भी लगातार बढ़ रहे हैं। वहीं अब तक जिले में एक लाख से अधिक लोगों के कोविड टेस्ट हो चुके हैं व यह सिलसिला जारी है इसमें प्रतिदिन दो से तीन सौ लोगों के सैंपल लिए जा रहे हैं। इस समय अधिकांश लोग सरकार की गाइडलाइंस की पालना की बजाए मास्क तक का प्रयोग करने से गुरेज कर रहे हैं, यह बाकी लोगों के लिए भी एक बार फिर से खतरा पैदा कर सकता है। 

बीते 21 दिनों में बठिंडा जिले में 593 नए लोग कोरोना संक्रमित हुए हैं। रविवार को कोरोना संक्रमण के 32 नए मरीज मिले वही सोमवार  फिर से इतने ही लोगों की रिपोर्ट पोजटिव मिली। इस तरह जिले में अब तक 359 एक्टिव मरीज हो गए हैं जिसमें से 255 होम आइसोलेशन में हैं, लेकिन चिंता वाली बात यह है कि जिले में 44 कोरोना संक्रमित मरीज ऐसे है जिनकी सेहत विभाग तलाश कर रहा है। कोरोना गाइडलाइन की पालना बेहद जरूरी है जिसमें मास्क पहनना व हाथों को सेनेटाइज करना व 2 गज दूरी बहुत अहम है। वहीं शहर में अब तक 236 लोगों की कोरोना संक्रमण से मौत हो चुकी है जिसमे करीब हर आयु वर्ग के लोग शामिल हैं। सिविल सर्जन बठिंडा डा. तेजवंत सिंह ढिल्लों ने बताया कि कोरोना वायरस पिछले कुछ दिनों में तेजी से फैल रहा है इसलिए हम सभी को अब अधिक सतर्क रहने की जरूरत है।


बठिंडा में कोविड रोकने के लिए सख्ती-बिना मास्क घूम रहे लोगों के पहले चालान काटे बाद में कोविड का टेस्ट करवाया


बठिंडा. पंजाब में कोरोना के बढ़ते हुए मामलों को देखते हुए पंजाब सरकार के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह दिशा-निर्देश में प्रशासन ने सख्ती दिखानी शुरू कर दी है। इसी कड़ी में सोमवार को सिविल लाइन पुलिस थाने की टीम ने 100 फुटी रोड अजीत रोड के चौक में नाका लगाकर जहां लोगों के चालान काटे वही पैरामेडिकल स्टाफ के साथ नाका लगाकर पब्लिक को जागरूक करने के लिए कोरोना जांच के लिए सैंपल लिए। इसके बाद टीम ने बिना मास्क लगाए गुजर रहे करबी 70 लोगों के कोरोना जांच के लिए सैंपल लिए। वहीं लोगों को चेतावनी दी गई कि घर से निकलते समय मास्क का इस्तेमाल करें। वहीं उन्होंने कहा कि मास्क लगाने से अपना भी फायदा और आप चालान से भी बचेंगे। इस मौके सिविल अस्पताल से पहुंची पैरा मेडिकल की टीम ने लोगों के मेन चौक में सैंपल लिए व उन्हें मास्क भी दिए गए। 

उन्होंने लोगों से अपील की कि वह बीते 21 दिनों में बठिंडा जिले में 593 नए लोग कोरोना संक्रमित हुए हैं। इस तरह जिले में अब तक 359 एक्टिव मरीज हो गए हैं जिसमें से 255 होम आइसोलेशन में हैं। इस स्थिति में जरूरी है कि लोग घरों से बाहर निकलने से पहले मास्क लाजमी पहने वह पब्लिक पलैस में सोशल डिस्टेसिंग का पालन सख्ती से करे। इस महामारी में कोविड वैक्सीन लगाने वाले लोगों को भी निश्चित होकर बैठने की जरूरत वहीं है बल्कि उन्हें इस बीमारी से बचने के लिए नियमों का पालन लाजमी करना चाहिए। दूसरी तरफ सेहत विभाग की तरफ से जिन लोगों के कोविड सैंपल लिए जा रहे हैं उनके आधार कार्ड नहीं ले रहे हैं बल्कि उनका मोबाइल नंबर व घर का पता लिखकर ही औपचारिकता पूरी हो रही है। इस तरह की लापरवाही में चिंता वाली बात यह है कि जिले में 44 कोरोना संक्रमित मरीज ऐसे है जिनकी सेहत विभाग तलाश कर रहा है इन लोगों ने जांच से पहले अपना मोबाइल नंबर व पता गलत लिखवाया था जिसके चलते रिपोर्ट पोजटिव आने के बाद उपचार संबंधी प्रक्रिया व होम आइसोलेशन में जाने की निगरानी नहीं हो सकी है। इस तरह की लापरवाही को रोकने के लिए सेहत विभाग व सरकार ने टेस्ट करवाने वाले का आईडी प्रूफ के तौर पर आधार कार्ड की कापी लेने का आदेश दिया था। 

फिलहाल कोरोना संक्रमितों द्वारा सैंपलिंग दौरान विभाग को नाम, पता और मोबाइल नंबर गलत दर्ज करवाने के कारण ट्रेस नहीं हो रहे जिसके चलते वे खुले में आम लोगों के बीच घूम रहे हैं। ऐसे में संक्रमण और अधिक फैलने की संभावना है। इस बाबत सिविल सर्जन डा. तेजवंत ढिल्लों भी कहते हैं कि कोरोना संक्रमण को लोगों के जागरूक हुए बिना टालना संभव नहीं है। कोरोना गाइडलाइन की पालना बेहद जरूरी है जिसमें मास्क पहनना व हाथों को सेनेटाइज करना व 2 गज दूरी बहुत अहम है। वहीं शहर में अब तक 236 लोगों की कोरोना संक्रमण से मौत हो चुकी है जिसमे करीब हर आयु वर्ग के लोग शामिल हैं। सिविल सर्जन बठिंडा डा. तेजवंत सिंह ढिल्लों ने बताया कि कोरोना वायरस पिछले कुछ दिनों में तेजी से फैल रहा है इसलिए हम सभी को अब अधिक सतर्क रहने की जरूरत है।

फोटो -बठिंडा के सौ फुटी रोड के घोड़ा वाला चौक में पुलिस की तरफ से नाका लगाकर जहां चालान काटे गए वही बिना मास्क घूम रहे लोगों के कोविड सैंपल लिए गए। 


एक साल कोविड महामारी से लड़कर लोगों की अनमोल जिंदगी बचाने वाले दो सेहत कर्मी सम्मानित

 


बठिंडा. ठीक एक साल पहले 22 मार्च को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोरोना को कंट्रोल करने के लिए जनता कर्फ्यू लगाने की घोषणा की थी। इसके बाद जिले में कोरोना से संक्रमित लोगों की तादाद में भी एकाएक बढ़ोतरी ने सभी को चिंता में डाल दिया। लोग घरों में कैद होकर रह गए तो फिल्ड में लोगों की सेहत का ख्याल रखने व उन्हें इस महामारी से बचाने के लिए सेहत कर्मियों की टीम उतर पड़ी। इन दौरान लोगों के सैंपल लेने से लेकर उनके उपचार के लिए जुटी टीमें लोगों के लिए प्रेरणा बनकर सामने आई। इसमें सिविल अस्पताल में तैनात माइक्रोबाइलोजी विभाग की दो महिला कर्मी ऐसी थी जिन्होंने दिन व रात की परवाह किए बिना, परिवार व दोस्तों से दूर बिना किसी भेदभाव के अपनी ड्यूटी को कर्मनिष्ठा से निभाते नई मिशाल पैदा की।

ममता दौपर व संदीप कौर ने एक लाख लोगों के सैंपल हासिल करने व उनकी रिपोर्ट फरीदकोट कालेज भेजने के साथ स्थानीय लैब में जांच करने में अहम रोल अदा करते लाखों लोगों को जागरुक करने का काम भी किया। उनकी इसी निष्ठा को देखते एक साल लाकडाउन के बीतने पर सेहत विभाग ने सोमवार को प्रमाणपत्र देकर सम्मानित किया। इस दौरान सिविल सर्जन डा. तेजवंत सिंह ढिल्लों के साथ डैटल अफसर व कोविड के नोडल अफसर नरेश सिंगला हाजिर रहे। उन्होंने दोनों सेहत कर्मियों के कार्य की प्रशंसा करते उन्हें प्रशंसा पत्र दिया। सिविल सर्जन बठिंडा डा.तेजवंत सिंह ढिल्लों ने बताया कि कोरोना महामारी के फैलने के बाद सबसे बड़ी चुनौती इससे लड़ने की थी। अधिकतर लोग इतने भयभीत थे कि वह कोविड संक्रमित के पास से गुजरने में भी कतराते थे लेकिन सेहत विभाग की टीम ने इस चुनौती को स्वीकार किया व दिन रात एक कर पिछले एक साल से कोविड संक्रणम से ग्रस्त लोगों  सेवा में जुटे रहे। 

ममता व संदीप ने पूरे कोआर्डिनेशन का काम संभाला। रोपिड टेस्ट से लेकर लैब टेस्ट को सुचारु ढंग से चलाने, गली मुहल्ले व बाजारों में लोगों के सैंपल हासिल करने जैसे कार्यों को सुचारु ढंग से पूरा किया। बठिंडा में 29 अप्रैल, 2020 को पहली बार दो कोरोना केस मिले थे जो अब 21 मार्च 2021 तक बढ़कर पूरे जिले में 10367 हो चुके हैं यानी पिछले 10 माह में रोजाना करीब 34 लोग संक्रमित हुए हैं जबकि 236 की मौत हो चुकी है। इस स्थिति में सेहत विभाग की अहम भूमिका को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता है।

सिविल अस्पताल बठिंडा में शुगर के साथ ब्लड प्रैसर जैसी बीमारियों के प्रति जागरुकता पोस्टर जारी किया गया


बठिंडा.
सिविल सर्जन बठिंडा डा. तेजवंत सिंह ढिल्लों की तरफ से सोमवार को सिविल अस्पताल परिसर में अम्बूजा सीमेंट फाउंडेशन बठिंडा के सहयोग के साथ हाइपर टेन्शन और शुगर विषय पर तैयार किया पोस्टर रलीज़ किया गया। 

इस मौके सहायक सिविल सर्जन डा. अनुपमा शर्मा, सीनियर मैडीकल अफसर डा. मनिन्दरपाल सिंह, जिला डैंटल हैल्थ अफसर डा. नरेश सिंगला, अम्बूजा सीमेंट फाउंडेशन के एरिया मैनेजर मानव मैटी, प्रोजेक्ट कोआर्डीनेटर संजय कुमार, जिला मांस मीडिया अफसर जगतार सिंह बराड़, डिप्टी एम.ई.आई.ओ. कुलवंत सिंह, जिला बी.सी.सी. कोआर्डीनेटर नरिन्दर कुमार, डा. मुनीष गुप्ता उपस्थित थे। इस मौके सिविल सर्जन बठिंडा डा. तेजवंत सिंह ढिल्लों ने जानकारी देते बताया कि अम्बूजा सीमेंट फाउंडेशन बठिंडा की तरफ से संक्रमण संबंधी बीमारियों के संबंध में आम लोगों को जगरूक करने काम किया जा रहा है जो प्रशंसनीय कार्य है। 

वर्तमान में अनियमियत जीवनशैली के चलते बड़ी संख्या में लोग शुगर और हाईपरटैनशन ( ब्लड प्रैसर) की बीमारी से पीडित हैं। जिनको रेगुलर चैकअप करवाने के साथ इलाज के प्रति जागरूकता की जरूरत है। जिससे दिनों दिन बढ़ रही बीमारियों को कंट्रोल किया जा सकता है। बीमारियों के इलाज संबंधी एन.सी.डी. क्लीनिक काम कर रहा है। एरिया मैनेजर मानव मैटी ने जानकारी देते बताया कि सेहत विभाग के साथ मिलकर गोनियाना ब्लाक के 12 गांवों में सेहत विषय के साथ सम्बधित एक विशेष प्रोजेक्ट चलाया जा रहा है। 

जिसमें अनीमिया, हाईपरटैनशन, और शुगर आदि बीमारियों की निशुल्क जांच की जाती है और लोगों को इन बीमारियों के प्रति जागरूक भी किया जाता है। जिसमें रोज़मर्रा का खानपान और रहन सहन की आदतों में बदलाव लाने संबंधी गतिविधियों की विस्तार से जानकारी शमिल है। हर पीडित व्यक्ति का फालोअप्प और रिकार्ड भी मैनटेन किया जाता है। जिससे आगामी समय में इस प्रोजक्ट को मजबूत करने व लोगों के लिए बेहतर ढंग से काम करने में सहायता मिल सकेगी। 

श्री छिन्नमस्तिका धाम, मंदिर माता चितपूर्णी भुच्चो कैंचियां में आयोजित कैंप में 163 मरीजों की आंखों की जांच की, 12 के करवाए निशुल्क आप्रेशन

 


बठिंडा. श्री छिन्नमस्तिका धाम, मंदिर माता चितपूर्णी भुच्चो कैंचियां में नयन ज्योति चैरिटेबल ट्रस्ट व श्री राम स्वरूप जिदल मेमोरियल चैरिटेबल आई अस्पताल द्वारा 12 मरीजों के आंखों के निशुल्क आपरेशन करवाए। इस मौके नार्दन रेलवे के टीएनसी अलका चौधरी मुख्य मेहमान के तौर पर उपस्थित हुए और संस्था द्वारा किये जा रहे समाज सेवा के कार्यों की प्रशंसा की। मंदिर कमेटी के चेयरमैन पवन बांसल, मंदिर के संस्थापक जोगिदर काका व सचिव भोला सिगला ने बताया कि अस्पताल में प्रधान मदन गोपाल के नेतृत्व में कैंप लगा कर आंखों के माहिर डाक्टर स्वतंत्र गुप्ता द्वारा अपने स्टाफ सदस्यों वरिदर सिगला, गमदूर सिंह, महिदर कौर, परमजीत कौर, कुलदीप सिंह के सहयोग से 163 मरीजों की आंखों की जांच कर मुफ्त दवाएं दी गई। इस मौके मंदिर के संस्थापक जोगिदर काका ने आपरेशन वाले मरीजों को मेडिकल किटें बांटी। इस मौके मंदिर कमेटी के मैनेजर मनोज मोजी, पं.राम गोपाल ने विशेष सहयोग दिया।


विजयकांत गोयल ने एनएफएल बठिडा में महाप्रबंधक प्रभारी का पदभार संभाला

 


बठिडा। विजयकांत गोयल ने नेशनल फर्टिलाइजर्स लिमिटेड (एनएफएल) की बठिडा इकाई के महाप्रबंधक का पदभार ग्रहण कर लिया है। बठिडा इकाई के कार्यभार ग्रहण करने से पूर्व गोयल एनएफएल पानीपत इकाई में महाप्रबंधक संचालन एवं अनुरक्षण के पद पर कार्यरत थे। गोयल उत्तर भारत के प्रमुख इंजीनियरिग संस्थानों में से एक, थापर इंस्टीच्यूट आफ इंजीनियरिग एंड टेक्नोलाजी, पटियाला से मैकेनिकल इंजीनियरिग के ग्रेजुएट हैं। वर्ष 1985 में एनएफएल में कार्यभार ग्रहण के पश्चात उर्वरक उद्योग के साथ एक लंबा संबंध रहा है। गोयल को उर्वरक उद्योग में वर्तमान में ईंधन, तेल व गैस पर आधारित संयंत्रों के प्रौद्योगिकियों के संचालन का बहुत अनुभव है। उन्होंने एनएफएल की सभी चार इकाइयों नंगल, पानीपत, विजयपुर व बठिडा में विभिन्न पदों पर कार्य किया है।

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