बठिडा। शहर में पार्किग की बदहाल हो रही समस्या को हल करने के लिए निगम ने कमर कस ली है। कंसल्टेंट हायर करने के लिए बाकायदा टेंडर लगा दिया गया है, जो 23 मार्च को खोला जाएगा। इस टेंडर के अधीन निगम ने ऐसे आर्किकेट्स को अप्लाई करने के लिए कहा है, जो पिछले कई सालों से काम कर रहे हैं। निगम कंसल्टेंट के माध्यम से मल्टीस्टोरी पार्किग के निर्माण पर होने वाले खर्च का एस्टीमेट तैयार करवाएगा।
दरअसल, शहर में मल्टीस्टोरी पार्किंग बनाने का प्रोजेक्ट पिछले 12 साल से लटक रहा है। अब कंसल्टेंट के माध्यम से प्रोजेक्ट तैयार करवाया जाएगा। निगम की ओर से शर्त रखी गई है कि आर्किटेक्ट की ओर से तैयार किए जाने वाले डिजाइन को आने वाले 50 साल को ध्यान में रखकर बनाया जाएगा। इससे पहले तैयार किए गए डिजाइन में 550 कारों की पार्किंग हो सकती थी, लेकिन अब नए डिजाइन को तैयार करने से पहले शहर में ट्रैफिक को भी ध्यान में रखा जाएगा। निगम इस बार एक हजार के करीब कारों की पार्किंग बनाने का टारगेट लेकर चल रहा है। हालांकि कंसल्टेंट हायर करने को लेकर निगम दो साल पहले भी कार्यवाही कर चुका है, लेकिन इसके बाद भी यह प्रोजेक्ट आगे नहीं बढ़ सका। इससे पहले फरवरी 2019 की हाउस मीटिग में भी मल्टीस्टोरी पार्किंग के प्रोजेक्ट को पूरा करने पर मुहर लग चुकी है। इसको लेकर नगर निगम के सुपरिटेंडेंट इंजीनियर हरपाल भुल्लर का कहना है कि निगम द्वारा पार्किंग के लिए कंसल्टेंट हायर किए जाएंगे, जिसके बाद इसका एस्टीमेट तैयार किया जाएगा।
निजी कंपनी पहले भी सौंप चुकी है डीपीआर
प्राइवेट कंपनी दाराशाह द्वारा पार्किंग को लेकर पहले भी एक डीपीआर निगम को सौंपी जा चुकी है। इसके अनुसार बठिडा में वर्ष 2023 तक 352, 2028 तक 420 व वर्ष 2033 तक 465 कारों की पार्किंग की माल रोड पर जरूरत होगी। मौजूदा समय में देखा जाए तो नगर निगम के पास रेलवे रोड से लेकर माल रोड लार्ड रामा स्कूल तक कोई भी अदद पार्किंग नहीं है। वहीं सामान्य पार्किंग में निगम के पास इस समय गांधी बाजार मार्केट, सब्जी मंडी रेलवे रोड पार्किंग, सुभाष मार्केट, आर्य समाज स्पोर्ट्स मार्केट, राजेश सिनेमा मार्केट, कपड़ा बाजार मार्केट मौजूद हैं, जहां कंपनी प्रोजेक्ट की फीजिबिलीटी को स्टडी कर 25 से 100 कारों तक की पार्किंग को एडवाइज करेगी।
2016 में हरसिमरत ने रखा था नींव पत्थर, सरकार बदलते ही रुका प्रोजेक्ट
शहर में पार्किंग की समस्या को खत्म करने व मल्टीस्टोरी पार्किंग बनाने के लिए पूर्व केंद्रीय मंत्री व सांसद हरसिमरत कौर बादल ने 2017 के विधानसभा चुनावों से पहले आठ नवंबर 2016 को माल रोड के सरकारी स्कूल में नींव पत्थर रखा था, लेकिन सरकार बदलने के बाद आज तक योजना सिरे नहीं चढ़ पाई। नौ साल में पांच बार बदली जा चुकी है योजना
2016: केंद्रीय मंत्री हरसिमरत कौर बादल ने सरकारी प्राइमरी स्कूल की 1.4 एकड़ जमीन पर कामर्शियल कम मल्टीस्टोरी पार्किंग का नींव पत्थर रखा। चार मंजिला बनने वाले इस मल्टीस्टोरी पार्किंग पर लगभग 28 करोड़ रुपये खर्च होने थे। पुडा ने इसे रेट ज्यादा बता रद कर दिया है।
2015: केंद्र सरकार ने फायर ब्रिगेड की जगह पर बनने वाली मल्टीस्टोरी पार्किंग के प्रोजेक्ट को ड्राप कर दिया। निगम अफसरों ने पूर्व स्थानीय निकाय मंत्री अनिल जोशी से 30 करोड़ मांगे थे, लेकिन राज्य सरकार ने भी फंड नहीं दिया।
2013: निगम कमिश्नर विपुल उज्ज्वल ने दराशाह कंपनी से इस प्रोजेक्ट की डीपीआर नए सिरे से तैयार करवाई और इसे जवाहर लाल नेहरू अर्बन रिन्यूवल स्कीम के तहत केंद्रीय सहायता के लिए भेजा। 2014 में फाइल लटक गई और इसे रद कर दिया गया।
2012: निगम ने दराशाह कंपनी को सलाहकार एजेंसी के तौर पर हायर कर उससे प्रोजेक्ट की डीपीआर तैयार करवाई। निगम ने कंपनी को करीब 17 लाख रुपये अदा किए, बाद में योजना को बदल दिया गया।
2009: नगर निगम हाउस ने फायर ब्रिगेड की 3200 गज जमीन पर मल्टीस्टोरी पार्किंग बनाने की योजना तैयार की थी। सीनियर डिप्टी मेयर इंजी तरसेम गोयल की अगुआई वाली सब कमेटी ने घाटे का सौदा मानते हुए प्रोजेक्ट को रद कर दिया।
ट्रैफिक जाम से मिलेगी निजात, सड़कों पर खड़े नहीं होंगे वापन
अगर मल्टीस्टोरी पार्किंग बनती है, तो शहरवासियों को काफी फायदा होगा। इससे न सिर्फ बाजारों से ट्रैफिक जाम से निजात मिलेगी, बल्कि गाड़ी टो होने का भी डर नहीं रहेगा। बाजारों में शापिग करने के लिए आने वाले लोग मौजूदा समय में अपने वाहन सड़क या फुटपाथ पर पार्क करते हैं या निगम की तरफ से चलाई जा रही अस्थाई पार्किंग में। फुटपाथ और सड़कों पर खड़े वाहनों को ट्रैफिक पुलिस टो कर ले जाती है, जिसे छुड़वाने के लिए लोगों को भारी जुर्माना देना पड़ता है।
निगम की इन पार्किग पर कर लिया गया कब्जा
स्पोर्ट्स मार्केट : निगम की एकमात्र पार्किंग है, जिसमें 10 से 15 कारें खड़ी हो सकती हैं, लेकिन जब से निगम ने इन पार्किंग का ठेका खत्म कर इन्हें फ्री किया है, वहां के दुकानदारों ने पार्किंग के आने व जाने वाले रास्ते में लोहे के पोल लगाकर उन्हें बंद कर दिया है ताकि लोग अपने वाहन खड़े कर सकें।
मिड्डू मल स्ट्रीट: मिड्डू मल स्ट्रीट के साथ बनी पार्किंग पर रेहड़ी-फड़ी वालों ने पूरी तरह से कब्जा कर लिया है। पूरी पार्किंग में खाने-पाने की रेहड़ियां खड़ी रहती हैं। इसके अलावा सुभाष मार्केट पानी वाली टंकी के पास बनी पार्किंग पर टैक्सी यूनियन ने अपना कब्जा कर रखा है।
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