-हाईकोर्ट में दायर याचिका पर जारी किए थे निर्देश, बठिंडा सीआईए पुलिस का एएसआई है मामले में आरोपी
बठिंडा. युवक के खिलाफ झूठा केस दर्ज कर विधवा मां से दुष्कर्म करने के मामले में नया मोड़ आ गया है। पंजाब हरियाणा हाईकोर्ट ने एसएसपी बठिंडा की ओर से गठित एसआईटी को रद्द करके नई टीम का गठन कर दिया है, जो नए सिरे से केस की जांच करेगी। इस एसआईटी के तीनों सदस्य महिला अधिकारी एडीजीपी गुरप्रीत दियो, एसएसपी मुक्तसर डी. सुधरविजी और डीएसपी बुढलाडा प्रभजोत कौर हैं।
मामले में आरोपी सीआईए स्टाफ का एएसआई गुरविंदर सिंह है। पंजाब एंड हरियाणा हाइकोर्ट के एडवोकेट गुरप्रीत सिंह भसीन ने पीड़िता को इंसाफ दिलाने के लिए याचिका दायर की थी। याचिका में उन्होंने उक्त मामले की जांच आईपीएस अधिकारियों से करवाने की मांग रखी थी। याचिका पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने केस की जांच के लिए एसआईटी गठित कर दी। क्योंकि बठिंडा पुलिस द्वारा गठित टीम में कोई महिला अधिकारी नहीं थी।
हाईकोर्ट ने कहा कि यह बहुत ही संवदेनशील मामला था, जिसे बठिंडा पुलिस अधिकारियों ने गंभीरता से नहीं लिया। अब नई एसआईटी में शामिल तीनों महिलाएं महिला से दुष्कर्म व उसके बेटे पर नशा निरोधक एक्ट के तहत दर्ज केस की जांच करेंगी। इसके अलावा हाईकोर्ट ने अपने आदेश में सीजेएम बठिंडा को निर्देश दिए कि इस दोनों मामलों में ऑडियो-वीडियो रिकॉर्डिंग और मोबाइल फोन आदि सबूतों को सील करके जांच के लिए एफएसएल भेजा जाए।
ये है मामला
आरोपी एएसआई गुरविंदर सिंह विधवा महिला से संबंध बनाना चाहता था, लेकिन जब वह नहीं मानी तो आरोपी ने पीड़ित महिला को ब्लैकमेल करने के लिए पहले उसके 20 साल के बेटे पर नशा तस्करी का झूठा केस दर्ज कर उसे गिरफ्तार किया और बाद में उसे छोड़ने की एवज में महिला से 2 लाख रुपए की मांग की। एक लाख रुपए लेने के बावजूद उसने बेटे को नहीं छोड़ा और महिला से जबरन शारीरिक संबंध बनाने का दबाव डाला। इसके बाद उसने महिला से एक बार जबरदस्ती दुष्कर्म भी किया।
इससे परेशान महिला ने पूरे मामले की जानकारी पंचायत को देते हुए मदद की गुहार लगाई, जिसके बाद गांव वालों ने ट्रैप लगाकर आरोपी को रंगे हाथ पकड़ लिया। पुलिसवाले की निर्वस्त्र हालत में वीडियो भी बनाई। इसके बाद गांववालों ने जानकारी एसएसपी बठिंडा को देकर कड़ी कार्रवाई की मांग की। कार्रवाई न करने पर आत्मदाह की धमकी दी। पीड़ित महिला का मेडिकल करवाने के बाद पुलिस ने आरोपी के खिलाफ धारा 376 के तहत दुष्कर्म का मामला दर्ज कर उसे गिरफ्तार कर लिया। एसएसपी भूपिंदरजीत सिंह विर्क ने बताया कि आरोपी को बर्खास्त कर दिया गया है।
पहले समझाया, नहीं माना तो घर में लगवाए कैमरे, ताकि पकड़ सकें
गांव मानसा खुर्द के निवासी भोला मान ने बताया कि पीड़ित महिला ने उन्हें एएसआई की हरकतों के बारे में बताया। इस पर उन्होंने 20 दिन पहले फोन कर समझाया तो आरोपी ने गालियां दीं। इसके बाद उन्होंने दोस्त शेर सिंह तुंगवाली को बताया और महिला की मदद का फैसला किया। आरोपी पुलिस कर्मी द्वारा रात को आने की बात जब पीड़ित महिला ने बताई तो उन्होंने गांव बाठ की पंचायत के सरपंच कुलविंदर सिंह व पूर्व सरपंच थाना सिंह प्लानिंग बनाई।
इसके बाद महिला के घर में कैमरे लगा दिए और दरवाजे की कुंडी मोड़ दी ताकि वह बंद न कर सके। रात 11.05 पर एएसआई आया तो 5-7 लोग कमरे में छिप गए। यह सारा वाक्या भोला सिंह व सहयोगी मोबाइल पर देख रहे थे। उन्होंने करीब 20 मिनट बाद घर में प्रवेश कर दरवाजा खोल दिया ताकि ASI को मौके पर पकड़ सकें। गांव वालों ने वीडियो पुलिस अधिकारियों को देते हुए कहा कि अगर कार्रवाई नहीं हुई तो आत्मदाह कर लेंगे
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