- मासूम बच्ची की आहार नली में दिक्कत है, जिसका इलाज चंडीगढ़ में चल रहा है
- एक हादसे में आरोपी पिता की पैर में चोट लगने के कारण काम छूट गया था
मोगा। मां-बाप अपने बच्चों की खुशी और सलामती के लिए क्या-क्या नहीं करते, वहीं कुछ लोग अपनी हरकतों से रिश्तों को शर्मसार कर देते हैं। नाम मजबूरी का दे दिया जाता है, ऐसा ही एक मामला पंजाब के माेगा जिले में सामने आया है। घटना के बारे में जानकर पुलिस वालों के भी पैरों तले से जमीन खिसक गई थी। आरोपी मां-बाप अब सलाखों के पीछे हैं।
पैसे की कमी के कारण मां-बाप दो महीने की मासूम बच्ची को 40 हजार रुपए में बेचने को तैयार हो गए। मामले का खुलासा तब हुआ, जब आरोपी मां-बाप एक ढाबा पर खरीदार को बच्ची सौंपने आए। उनके साथ बच्ची का सौदा करवाने वाली महिला भी थी। एक शख्स ने उनकी बातें सुन ली और पुलिस को मामले की सूचना दी। खबर मिलते ही CIA स्टाफ पुलिस टीम मौके पर पहुंची और आरोपी मां-बाप को हिरासत में ले लिया। वहीं खरीदार और दलाल भागने में कामयाब हो गए।
दो महीने की बच्ची के आहार नली में है दिक्कत
CIA स्टाफ पुलिस टीम आरोपी मां-बाप को थाने ले आई। आरोपियों की पहचान लुधियाना के हैबोवाल निवासी अवतार सिंह के रूप में हुई। आरोपी की एक दो साल की बेटी गुरमन कौर है और एक दो महीने की बेटी प्रभजोत कौर है। प्रभजोत की आहार नली में दिक्कत है, जिसका इलाज चंडीगढ़ में चल रहा है। इस बीच एक हादसे में अवतार सिंह के पैर में चोट लग गई, जिस वजह से वह काम पर नहीं जा पा रहा था। इन सभी वजहों से अवतार सिंह आर्थिक तंगी से गुजर रहा था।
पुलिस टीम ने अवतार सिंह से बच्ची को बेचने का कारण पूछा तो उसने अपनी तरफ से दलील दी कि हैबोवाल में उन्हें एक महिला मिली थी। उसने कहा कि मोगा का एक दंपती बच्ची को गोद लेना चाहते हैं। उन्हें बच्ची चाहिए और वे इसके लिए कुछ भी करने को तैयार हैं। महिला ने उससे कहा कि वह अगर बच्ची को उन्हें दे देगा तो 40 हजार रुपये मिलेंगे। इस पर वह अपनी दो महीने की बेटी को बेचने के लिए तैयार हो गया। पत्नी ने भी सहमति जताई और सौदा पक्का हो गया।
जगराओ के ढाबा पर बच्ची को लेकर पहुंचे थे माता-पिता
अवतार ने बताया कि महिला ने पहले उनको जगराओं बुलाया। जगराओं में बताए गए स्थान पर वे पहुंचे तो उन्हें मोगा में लुधियाना रोड पर एक ढाबा पर आने को कहा गया। वहां महिला के साथ एक पुरुष भी था। जब वे ढाबा पर बच्ची खरीदने को लेकर चर्चा कर रहे थे तो वहां बैठे एक शख्स ने उनकी बातें सुन ली और पुलिस को बता दिया। पुलिस को देखकर महिला और वो शख्स दोनों भाग गए और हम पुलिस के हाथ लग गए। दोनों का देर रात मथुरादास सिविल अस्पताल में मेडिकल कराया गया।
आमतौर पर इस तरह की घटनाएं सामने आती हैं। पंजाब में सामने आई उपरोक्त घटना के आरोपी मां-बाप की दलील पर अगर विश्वास भी कर लें तो भी एक सवाल पैदा होता है अगर कोई बच्ची को गोद लेना चाहता है तो उसे पैसे लेने की जरूरत क्या थी? बच्ची को इसलिए बेचना चाहते थे, क्योंकि उसकी आहार नली में दिक्कत थी। आर्थिक तंगी के कारण अगर बच्ची का पालन-पोषण नहीं करना चाहते थे तो उसे किसी जरूरतमंद को ऐसे ही दे देते। पैसे का लेन-देन करके बच्ची की बेकद्री तो न करते।
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